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यूपी नगर निकाय चुनाव में नए सिरे से होगा आरक्षण, बदलेंगे सियासी समीकरण, जानें कब जारी होगी अधिसूचना

योगी सरकार ने अप्रैल-मई में चुनाव कराने के संकेत दिए हैं. जिसके चलते निर्वाचन आयोग ने सभी 762 निकाय में मतदाता सूची पुनरीक्षण का कार्यक्रम जारी कर दिया. प्रशासन ने निकाय चुनाव की तैयारियों को अंतिम रूप देना शुरू कर दिया है.

बरेली. उत्तर प्रदेश नगर निकाय चुनाव की तारीख का जल्द ऐलान होने की उम्मीद है. विश्वसनीय सूत्रों की मानें तो अप्रैल के पहले सप्ताह में चुनाव की अधिसूचना जारी हो जाएगी. प्रशासन ने निकाय चुनाव की तैयारियों को अंतिम रूप देना शुरू कर दिया है. निकाय चुनाव को लेकर गठित ओबीसी आयोग ने सरकार को अपनी रिपोर्ट तैयार कर सौंप दी जाएगी. इसके बाद सरकार जल्द आयोग की रिपोर्ट कोर्ट में देने की तैयारी कर रही है.

नए सिरे से होगा आरक्षण

कोर्ट के निर्देश के बाद ही सरकार ने पिछले वर्ष 28 दिसंबर को आयोग का गठन किया था. इसके साथ ही 31 मार्च तक रिपोर्ट सौंपने को कहा था. यह रिपोर्ट आयोग ने मार्च के पहले सप्ताह में सौंप दी है. ओबीसी आयोग ने वर्ष 1995 से 2022 तक के वार्ड वार कितने लोग ओबीसी समुदाय से चुनकर आए हैं. इसकी भी रिपोर्ट तैयार की है. 6 सदस्यीय आयोग में दो पूर्व आईएएस अधिकारी भी थे.

मतदाता सूची का कार्य अंतिम चरण में

योगी सरकार ने अप्रैल-मई में चुनाव कराने के संकेत दिए हैं. जिसके चलते निर्वाचन आयोग ने सभी 762 निकाय में मतदाता सूची पुनरीक्षण का कार्यक्रम जारी कर दिया. 10 मार्च को मतदाता सूची का ड्राफ्ट प्रकाशन कर दिया है. 17 मार्च तक मतदाता सूची निरीक्षण किया जा रहा है. मतदाता सूची में नाम जोड़ने, दावे और आपत्तियां प्राप्त की जा रही हैं. 18 से 22 मार्च तक दावे और आपत्तियों का निस्तारण किया जाएगा. मतदाता सूची में नाम जुड़वाने के लिए 11 से 17 मार्च तक आयोग की वेबसाइट पर ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं.

निकायों का आरक्षण बदलना तय

उत्तर प्रदेश नगर निकाय चुनाव 2023 का आरक्षण बदलना तय है. बरेली की 20 निकाय के दावेदारों को बड़ा झटका लगने की उम्मीद है. बरेली नगर निगम मेयर सीट एससी-ओबीसी के लिए आरक्षित होने की उम्मीद है. क्योंकि, यह सीट लंबे समय से सामान्य जाति (अनारक्षित) है. इस बार भी चुनाव से पहले बरेली के मेयर की सीट अनारक्षित की गई थी.

2017 में नगर निगम का यह था आरक्षण

नगर निकाय चुनाव 2017 में मेरठ एससी महिला के लिए रिजर्व थी, जबकि मथुरा वृंदावन एससी के लिए, फिरोजाबाद, वाराणसी, पिछड़ा वर्ग महिला, सहारनपुर और गोरखपुर पिछड़ा वर्ग, लखनऊ, कानपुर नगर और गाजियाबाद महिला के लिए, आगरा, इलाहाबाद,बरेली, मुरादाबाद, अलीगढ़, झांसी और फैजाबाद अनारक्षित थीं.

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वार्ड आरक्षण में भी होगा बदलाव

बरेली नगर निगम के 80, नगर पालिका नवाबगंज, फरीदपुर,आंवला और बहेड़ी के 100, 15 नगर पंचायत के 192 वार्ड का आरक्षण जारी कर दिया गया था.मगर, अब इसमें में बड़ा बदलाव होगा.नगर निगम के 80 वार्ड में से 45 वार्ड आरक्षित, जबकि 35 वार्ड सामान्य, पिछड़ी जाति के लिए 14 वार्ड, अनुसूचित जाति के लिए 04 वार्ड, महिलाओं के लिए 18, पिछड़ी जाति महिला के लिए 07 और अनुसूचित जाति की महिला के लिए 02 वार्ड आरक्षित थे.नगर निगम का वार्ड एक विहारीपुर सिविल लाइंस पिछड़ा वर्ग के लिए आरक्षित,अनुसूचित महिला के लिए वार्ड तीन छोटी बिहार, और वार्ड पांच नेकपुर था.इसके साथ ही अनुसूचित जाति के लिए वार्ड 7, 10,11 और वार्ड 12 था.

बरेली निकायों में यह था आरक्षण

नगर निगम की मेयर सीट अनारक्षित हो गई थी.यह पहले भी अनारक्षित थी.इसके साथ ही नगर पालिका फरीदपुर और बहेड़ी का चेयरमैन पद भी अनारक्षित था, जबकि नगर पालिका आंवला और नवाबगंज महिला के लिए रिजर्व की गई. नगर पंचायत फरीदपुर, बिशारतगंज, धौराटांडा, रीछा, शेरगढ़, रिठौरा महिला, देवरनिया, ठिरिया निजावत खां, शीशगढ़, सेंथल, फतेहगंज पूर्वी, सिरौली, फतेहगंज पश्चिमी, मीरगंज और शाही का चेयरमैन पद अनारक्षित.

रिपोर्ट- मुहम्मद साजिद, बरेली

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