विधानसभा में बजट सत्र के दौरान बुधवार को पहली पाली में भाजपा विधायकों की ओर से नियोजन नीति पर मुख्यमंत्री के जवाब को लेकर फिर से हंगामा किया गया. इस पर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा कि मुंह में राम बगल में छुरी. उन्होंने कहा कि आज देश की सर्वोच्च पंचायत लोकसभा ठप है. आदिवासी, दलित, अल्पसंख्यकों की आवाज नहीं उठ पा रही है. देश के इतिहास में यह पहला मौका है, जब सत्ता पक्ष ने ही लोकसभा को हाइजैक कर लिया है.
विपक्षी दल भाजपा भी यहां इसी को दोहरा रही है. इनके पास न तो कोई विषय है और न ही मुद्दा. मुख्यमंत्री ने कहा कि मंगलवार को सदन में इनकी ओर से वीडियोग्राफी की गयी. तमाशा किया गया. इन पर कार्रवाई होनी चाहिए. सदन की गरिमा को तार-तार कर ड्रामेबाजी की जा रही है. अब कपड़े फाड़ कर इन्हें सिद्ध करना पड़ रहा है कि ये राम भक्त हैं. ईश्वर व अल्ला सबको देख रहे हैं.
उन्होंने कहा कि 20 वर्ष तक सत्ता में रहने के बाद भी इन्हें तपोवन मंदिर की याद नहीं आयी. इनको लग रहा है कि केंद्र में इनकी सरकार है, तो पूरी दुनिया इनकी हो गयी. राज्य सरकार नियमानुसार कार्य करेगी. स्थानीय व नियोजन नीति पर जवाब देंगे. भाजपा विधायक अमर बाउरी के विरोध करने पर सीएम ने कटाक्ष करते हुए कहा कि दुर्भाग्य से इनकी आवाज ही ऐसी है, जैसे लगता है रो रहे हैं और कहते हैं दलित नेता को रुलाया जा रहा है.
भाजपा वाले सवालों से कही घिर नहीं जायें, इसलिए कभी कपड़े फाड़ते हैं तो कभी रूप बदल कर आते हैं. इस दौरान नियोजन नीति पर सीएम के जवाब को लेकर विपक्षी विधायक हंगामा करते हुए वेल में आ गये. स्पीकर रबींद्रनाथ महतो ने कार्यवाही दो बजे तक के लिए स्थगित कर दी.
सत्ता पक्ष के कई विधायकों ने मनीष जायसवाल द्वारा सदन में कुर्ता फाड़े जाने पर आपत्ति जतायी. उन्होंने कहा कि सदन की गरिमा तार-तार हुई है. स्पीकर रबींद्रनाथ महतो ने कहा कि सदन के प्रतिकूल आचरण हुआ. इसकी जांच करायेंगे.