गोरखपुरः बीआरडी मेडिकल कॉलेज में जूनियर डॉक्टरों द्वारा तीमारदारों और मरीज से मारपीट करने का मामला एक बार फिर सामने आया है. यह कोई पहली बार नहीं है जब मेडिकल कॉलेज में जूनियर डॉक्टरों ने मरीज और तीमारदार से पिटाई की हो. इससे पहले भी कई मामले हो चुके हैं. और कई बार तो जूनियर डॉक्टरों के खिलाफ मुकदमा भी दर्ज हो चुका है. लेकिन ये डॉक्टर अपनी हरकत से बाज नहीं आ रहें हैं.
ऐसी ही एक घटना महाराजगंज जिले के रहने वाले महिला रोगी और उसके स्वजनों के साथ हुआ है. जहां जूनियर डॉक्टरों ने उन्हें दौड़ा-दौड़ा कर मारा पीटा है. इतना ही नहीं जूनियर डॉक्टरों का गुस्सा इतना था उन लोगों ने मरीज का यूरिन पाइप भी खींच कर बाहर फेंक दिया. मरीज के स्वजनों का आरोप है कि डॉक्टरों ने उन्हें धमकाया कि अगर बोलेगी तो दवा की जगह जहर दे देंगे. फिलहाल गुलरिहा थाने में मरीज के स्वजन ने डॉक्टरों के खिलाफ तहरीर दी है. वहीं दूसरी तरफ मेडिकल कॉलेज प्रशासन ने भी रोगी और स्वजन के खिलाफ तहरीर दी है. फिलहाल अभी तक पुलिस ने मुकदमा नहीं दर्ज किया है.
इस मामले में बीआरडी मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ. गणेश कुमार ने बताया कि जूनियर डॉक्टरों को भी चोट लगी है. इस मामले में पुलिस को तहरीर दी गई है. मरीज के स्वजन की तरफ से शिकायत मिलने पर जूनियर डॉक्टरों के खिलाफ जांच बैठाई जाएगी और दोषियों पर कार्रवाई की जाएगी. बताते चलें महाराजगंज जिले के महदेवा के रहने वाली दुर्गावती देवी (55 वर्ष) की तबीयत बुधवार की सुबह खराब हो गई थी और वह बेहोश हो गई. मरीज के स्वजन उन्हें लेकर मेडिकल कॉलेज इलाज के लिए पहुंचे थे.
जिसके बाद डॉक्टरों ने उन्हें महिला मेडिसिन वार्ड नंबर 5 में भर्ती कराया. लेकिन कोई डॉक्टर उन्हें देखने नहीं पहुंचा. चार घंटे के बाद जब शाम को लगभग 6:00 बजे जूनियर डॉक्टर देखने पहुंचे तो महिला रोगी के बेटे ने डॉक्टरों से पूछ दिया कि आप इतनी देरी से आ रहे हैं. जबकि हम लोग दोपहर से यहां पर आप लोगों का इंतजार कर रहे हैं. मेरी मां की तबीयत काफी गंभीर है. यह बात जूनियर डॉक्टरों को नागवार लगी.
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जिसके बाद डॉक्टरों ने मरीज के तीमारदारों से गाली गलौज शुरू कर दी और थोड़ी देर में सात और जूनियर डॉक्टर वहां पहुंच गए. उन्होंने मरीज के स्वजनों को केबिन में बंद कर बुरी तरह से मारा पीटा. इतना ही नहीं जिसने जान बचाकर भागने की कोशिश की उसे दौड़ाकर पीटा. बाद में पुलिस के सहयोग से रोगी व उनके स्वजन किसी तरह से अस्पताल से बाहर आए . फिलहाल स्वजनों ने मरीज को दूसरे अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती कराया. जूनियर डाक्टरों के खिलाफ महिला थाने में तहरीर दी.
रिपोर्ट–कुमार प्रदीप,गोरखपुर