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रेड लाइट एरिया में नृत्य के नाम पर चल रहा था जिस्म का धंधा, पढ़िए कैसे सामने आया ये सच

अधिकतर लड़कियां बंगाल, उड़ीसा और नेपाल की थी. लड़कियों ने पुलिस को बताया कि उन्हें नृत्य के नाम पर बुलाया जाता है और देह व्यापार का धंधा में ढकेल दिया जाता है.

बिहार के अरवल जिला में स्थित जनकपुर धाम रेड लाइट एरिया में बाहर से लड़कियों को लाकर देह व्यापार का धंधा कराया जाता था. उनके द्वारा इंकार करने पर पीड़िता को प्रताड़ित किया जाता था. इसके बाद भी उनकी ओर से इंकार करने पर नशीली दवाईयां और मारपीट तक किया जाता है. एसपी के मोबाइल पर एक लड़की कॉल कर इसकी जब जानकारी दी तब इस मामले का खुलासा हुआ.

पीड़ित लड़की ने बताया कि मुझे बंधक बनाकर मुझसे गंदा काम कराया जाता है. इसका विरोध करने पर मेरे साथ मारपीट किया जाता है. उक्त सूचना के आलोक में एसडीओ (SDO) और एसडीपीओ (SDPO) के संयुक्त नेतृत्व में सदर थाना, महिला थाना की पुलिस ने जनकपुर धाम में 13 मई को छापेमारी की थी, जिसमें 16 लड़कियों की बरामदगी की गयी थी. इसमें अधिकतर लड़कियां बंगाल, उड़ीसा और नेपाल की थी. लड़कियों ने पुलिस को बताया कि उन्हें नृत्य के नाम पर बुलाया जाता है और देह व्यापार का धंधा में ढकेल दिया जाता है.

इसका विरोध करने पर मारपीट किया जाता है. हम लोगों को नशे की सूई दी जाती है. इसके साथ ही तरह-तरह के प्रताड़ना का शिकार होना पड़ता है. जिसकी हम चर्चा तक नहीं कर सकते हैं. इस संबंध में महिला थाना में दो दलालों पर मामला दर्ज किया गया है जिसे गिरफ्तार भी कर लिया गया है. उड़ीसा की रहने वाली लता सेन (काल्पनिक नाम) ने बयान दिया है जिसमें उसने जिक्र किया है कि विक्रम और विजय मारपीट करता था, जिस्मफरोशी के लिए नृत्य के नाम पर अरवल बुलाया गया था और यहां पर जिस्म बेचने पर मजबूर किया गया.

उसके खिलाफ ट्रैफिकिंग का मामला महिला थाना में दर्ज किया गया है. पुलिस अधीक्षक ने कहा कि सभी 16 लड़कियों का मेडिकल जांच कराया जा रहा है. सभी को उनके परिवार को सुपुर्द कर दिया जायेगा.

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