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झारखंड में बिजली हुई महंगी, अब प्रति यूनिट पर इतनी करनी होगी जेब ढीली, इस स्थिति में छूट का भी प्रावधान

झारखंड बिजली विभाग के निगम टैरिफ जारी करते हुए अध्यक्ष ने कहा कि यदि उपभोक्ता बिल तिथि के पांच दिनों के भीतर भुगतान करता है, तो उपभोक्ता को बिल के भुगतान पर दो प्रतिशत की छूट दी जायेगी.

झारखंड में बिजली की दरों में 6.50 प्रतिशत तक बढ़ोतरी की गयी है. एक सामान्य घरेलू उपभोक्ताओं की दरों में प्रति यूनिट पांच पैसे की बढ़ोतरी की गयी है. वहीं, मासिक फिक्सड चार्ज में भी 25 रुपये प्रति माह की बढ़ोतरी की गयी है. झारखंड बिजली वितरण निगम के वर्ष 2021-22 के टैरिफ प्रस्ताव पर झारखंड राज्य विद्युत नियामक आयोग ने टैरिफ की घोषणा कर दी है. यह टैरिफ एक जून 2023 के प्रभाव से लागू है. हालांकि, राज्य सरकार द्वारा दी जा रही सब्सिडी पूर्व की तरह लागू रहेगी. सब्सिडी में किसी तरह का कोई बदलाव नहीं किया गया है.

पांच दिनों में भुगतान करने पर दो प्रतिशत की छूट :

आयोग के अध्यक्ष रिटायर्ड जस्टिस अमिताभ गुप्ता, सदस्य अतुल कुमार व महेंद्र प्रसाद ने हरमू स्थित आयोग के कार्यालय में टैरिफ जारी किया. टैरिफ जारी करते हुए अध्यक्ष ने कहा कि यदि उपभोक्ता बिल तिथि के पांच दिनों के भीतर भुगतान करता है, तो उपभोक्ता को बिल के भुगतान पर दो प्रतिशत की छूट दी जायेगी. ऑनलाइन या किसी डिजिटल मोड के माध्यम से किये गये बिल की पूरी राशि की देय तिथि के भीतर भुगतान की गयी राशि पर एक प्रतिशत छूट की अनुमति दी गयी है, जिसकी अधिकतम सीमा छूट 250 रुपये होगी.

लोड फैक्टर रिबेट मिलेगा :

आयोग द्वारा बताया गया कि लोड फैक्टर रिबेट सभी उपभोक्ताओं को दिया जायेगा. जिनका लोड फैक्टर 65% से अधिक होगा, उनकी अधिकतम सीमा 15% तक होगी. वोल्टेज छूट केवल ऊर्जा शुल्क पर लागू होगी. 33 केवी केवी पर तीन प्रतिशत, 132 केवी पर पांच प्रतिशत की छूट दी जायेगी. 132 केवी से अधिक के उपभोक्ताओं को वोल्टेज छूट नहीं दी जायेगी. रूफटॉप सोलर को प्रोत्साहित करने और बढ़ावा देने के लिए आयोग ने रूफटॉप सोलर पीवी प्रोजेक्टस ग्रॉस मीटरिंग के लिए 4.16 रुपये व नेट मीटरिंग के लिए 3.80 रुपये प्रति यूनिट को पहले जैसा रखा है. उपभोक्ताओं को मीटरिंग शुल्क नहीं देना होगा.

21 घंटा बिजली देने पर पर फिक्सड चार्ज :

आयोग द्वारा कहा गया कि फिक्सड चार्ज की वसूली घंटों की आपूर्ति संख्या से जुड़ा हुआ है. जो एचटी उपभोक्ता के लिए 23 घंटा तथा एलटी व घरेलू उपभोक्ता के लिए 21 घंटा रखा गया है. इससे कम बिजली देने पर उसके अनुपात में ही फिक्सड चार्ज की वसूली की जायेगी.

प्रीपेड मीटर वालों की सुरक्षा राशि वापस होगी :

आयोग द्वारा कहा गया कि प्रीपेड मीटरिंग पर स्विच करने एवं प्रीपेड मीटर लगाने के एक महीने के भीतर पूरी सुरक्षा जमा राशि की वापसी की जायेगी तथा संबंधित उपभोक्ता श्रेणी के लिए ऊर्जा शुल्क पर तीन प्रतिशत की छूट लागू होगी. आयोग ने हर महीने एक प्रतिशत की छूट को बरकरार रखा है, जिसकी अधिकतम सीमा बिलिंग राशि के तीन प्रतिशत तक होगी, यदि बिल लगातार दो महीनो तक नहीं दिया जाता है तब.

फर्नेंस उद्योगों की बिजली हुई सस्ती :

आयोग ने फर्नेंस उद्योगों की बिजली सस्ती की है. उनके लिए हाइटेंशन स्पेशल सर्विस (फर्नेस इंडस्ट्रीज, लोहा गलाने के इंस्ट्रीज) की बिजली 35 पैसे सस्ती की गयी है. पूर्व में उनकी दर 5.50 रुपये प्रति केवीएएच थी, जो घटाकर 5.15 रुपये की गयी है. आयोग द्वारा कहा गया है कि बिजली की दरों के कारण यह उद्योग सिमटता जा रहा है. 40 की जगह केवल छह-सात उद्योग ही कार्यरत हैं. उन्हें सहायता पहुंचाने के लिए दर कम की गयी है.

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