प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी फ्रांस के दौरे पर जाने वाले हैं जिसपर पूरी दुनिया की नजर बनी हुई है. पीएम मोदी को 14 जुलाई को फ्रांस के राष्ट्रीय दिवस ‘बैस्टिल डे’ परेड समारोह में बतौर मुख्य अतिथि आमंत्रित किया गया है जिसमें वे शिरकत करेंगे. इसको लेकर अंग्रेजी अखबार टाइम्स ऑफ इंडिया ने खबर प्रकाशित की है. खबर के अनुसार मोदी सरकार फ्रांस से राफेल लड़ाकू विमानों के नौसैनिक संस्करण की खरीद के लिए एक समझौते पर हस्ताक्षर कर सकती है. इस यात्रा के दौरान पीएम मोदी समुद्री लड़ाकू जेट (राफेल एम) खरीदने के लिए अरबों डॉलर के सौदे की घोषणा कर सकते हैं. खबरों की मानें तो पीएम मोदी की दो दिवसीय फ्रांस यात्रा के दौरान 24-30 राफेल-समुद्री जेट विमानों के अरबों डॉलर के सौदे की घोषणा होने की संभावना है. अमेरिका के बाद पीएम मोदी का फ्रांस दौरा भारत के रक्षा क्षेत्र के लिए अहम साबित हो सकता है.
राफेल एम राफेल लड़ाकू विमान का नौसैनिक संस्करण है. इसका पूरा नाम राफेल मैरीटाइम है. उल्लेखनीय है कि, लड़ाकू विमान के तीन प्रमुख संस्करण हैं- राफेल सी सिंगल-सीट जिसे जमीन से इस्तेमाल किया जाता है. राफेल बीकी बात करें तो ये दो सीटों वाला जमीन से इस्तेमाल किये जाने वाला संस्करण है जबकि राफेल एम जो सिंगल-सीट कैरियर-आधारित संस्करण है. राफेल एम का निर्माण फ्रांस की कंपनी दसॉल्ट एविएशन के द्वारा किया गया है.
-राफेल एम की लंबाई 15.27 मीटर, ऊंचाई 5.34 मीटर है.
-राफेल एम का वजन 10600 किलोग्राम है.
-राफेल एम की ईंधन क्षमता 4700 किलोग्राम है.
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-हाई अल्टीट्यूड में राफेल एम की अधिकतम गति 1912 किमी/घंटा है, तो कम ऊंचाई पर इसकी रफ्तार 1390 किमी/घंटा है.
-तीन ड्रॉप टैंक के साथ राफेल एम की रेंज 3700 किमी है.
-राफेल एम किसी वाहक (कैरियर) पर उड़ान भर और उतर सकता है.
बताया जा रहा है कि विमानवाहक पोत पर तैनात वर्तमान मिग-29K की तुलना में राफेल-एम काफी बेहतर है. प्रधानमंत्री की फ्रांस यात्रा से ठीक एक सप्ताह पहले, रक्षा मंत्रालय का रक्षा खरीद बोर्ड राफेल-एम जेट खरीदने के सौदे पर विचार कर रहा है. भारतीय वायुसेना के पास पहले से ही 36 राफेल मौजूद हैं जिन्हें जमीन पर हवाई अड्डों पर तैनात किया जा सकता है.