BPSC Teacher Recruitment: बिहार में कुल 1,70,461 शिक्षकों की नियुक्ति के लिए हाल ही में बिहार लोक सेवा आयोग द्वारा प्रकाशित विज्ञापन में सर्वाधिक सीटें कक्षा एक से पांच तक के अभ्यर्थियों के लिए निर्धारित है, क्योंकि इस कैटेगरी के लिए लगभग 80,000 सीटें निर्धारित की गयी हैं. इस लिहाज से शिक्षक अभ्यर्थियों के लिए यह काफी बड़ा और सुनहरा मौका है. लेकिन, उचित जानकारी व मार्गदर्शन के अभाव में बहुत सारे शिक्षक अभ्यर्थी सही दिशा में अपनी तैयारी को अंजाम नहीं दे पा रहे हैं.
चूंकि इस तरह की परीक्षा और इतने व्यापक स्तर पर पहली बार आयोजित की जा रही है, लिहाजा अभ्यर्थियों के मन में सिलेबस, प्रश्नों की प्रकृति, अध्ययन सामग्री और परीक्षा पैटर्न आदि को लेकर काफी संशय की स्थिति बनी हुई है और ऐसी स्थिति में कई अभ्यर्थी दिशाहीनता का भी शिकार हो रहे हैं. अतः कक्षा एक से पांच तक के शिक्षक अभ्यर्थियों को अपनी बेहतर तैयारी को अंजाम देने के लिए कुछ विशेष बातों पर ध्यान देना चाहिए, जैसे परीक्षा के पैटर्न को समझना, परीक्षा के सिलेबस को समझना, परीक्षा में पूछे जाने वाले प्रश्नों के संभावित स्तर को समझना, उचित अध्ययन सामग्री का पता लगाना और अपनी तैयारी के लिए बेहतर रणनीति बनाना आदि. अभ्यर्थी अपने इन तमाम दुविधाओं को इस आलेख के माध्यम से बहुत आसानी से दूर कर सकते हैं. पूरी प्रक्रिया को हम विभिन्न हेडिंग के तहत समझ सकते हैं.
यदि हम परीक्षा पैटर्न की बात करें, तो कक्षा एक से पांच तक के अभ्यर्थियों के लिए दो पेपर होंगे. कुल 100 अंकों का पहला पेपर (पेपर – 1) भाषा का होगा. इस पेपर में दो पार्ट होंगे- पार्ट – I और पार्ट – II. इनमें से अंग्रेजी भाषा आधारित पार्ट-I सभी के लिए अनिवार्य होगा. इस सेक्शन में कुल 25 अंकों के लिए 25 प्रश्न पूछे जायेंगे. इसी पेपर में कुल 75 अंकों का दूसरा भाग होगा, जिसमें अभ्यर्थियों को हिंदी, उर्दू व बांग्ला भाषा में से किसी एक का चयन करना होगा. अभ्यर्थियों को यहां स्पष्ट रूप से यह समझ लेनी चाहिए कि पेपर वन केवल क्वालिफाइंग है और इस पेपर के दोनों पार्ट्स को मिलाकर न्यूनतम 30 नंबर लाने होंगे. इस पेपर के अंक मेरिट निर्धारण में नहीं जोड़े जायेंगे.
दूसरे पेपर (पेपर-2) के रूप में सामान्य अध्ययन का पेपर होगा, जिसमें कुल 150 अंकों के लिए 150 प्रश्न पूछे जायेंगे. इसी पेपर के आधार पर अभ्यर्थियों का मेरिट निर्धारित होगा. अतः अभ्यर्थियों के लिए यह पेपर काफी अहम है.
आयोग ने परीक्षा के लिए संक्षिप्त सिलेबस जारी किया है. उसके अनुसार पेपर वन यानी भाषा की यदि हम बात करें, तो यह सामान्य स्तर का होगा. इसके लिए अभ्यर्थी विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं में भाषा से पूछे जा रहे सवालों को आधार बना सकते हैं. सामान्य अध्ययन के लिए एलीमेंट्री गणित, मेंटल एबिलिटी, जेनरल अवरेनेस, जेनरल सांइस, सोशल साइंस, भारतीय स्वतंत्रता संग्राम, भूगोल और पर्यावरण जैसे टॉपिक्स से प्रश्न रहेंगे. जहां तक प्रश्नों के स्तर का सवाल है, तो यह बीपीएससी पीटी में पूछे जा रहे स्तर का रहेगा.
अध्ययन सामग्री के रूप में अभ्यर्थी एनसीइआरटी के साथ साथ बिहार टेक्स्ट बुक्स को ही आधार बनाएं, तो बेहतर होगा. सोशल साइंस के लिए छठी से 12वीं कक्षा तक, साइंस के लिए छठी से 10वीं तक और गणित के लिए जेनरल मैथ की कोई पुस्तक को शामिल करें. स्वतंत्रता संग्राम के लिए एनसीइआरटी के साथ विपिन चंद्र की पुस्तक पढ़ें. जेनरल अवेयरनेस के लिए करेंट अफेयर्स का मंथली मैगजीन को पढ़ना बेहतर होगा.
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यदि हम बेहतर तैयारी व रणनीति की बात करें, तो यही कहा जा सकता है कि ज्यादा दिग्भ्रमित होने से बचें. अभ्यर्थियों को ऊपर बताये गये टेक्स्ट बुक्स को बार-बार पढ़ना चाहिए, ताकि उसका कॉन्सेप्ट क्लियर हो सके. अभ्यास के लिए बीपीएससी व एसएससी द्वारा आयोजित पीटी के क्वेश्चन बैंक को आधार बनाना चाहिए. इसके लिए उन्हें प्रीवियस इयर्स के क्वेश्चन पेपर को बार-बार सॉल्व करना चाहिए. इसके साथ यदि समय मिलता है, तो उपलब्ध स्तरीय प्रैक्टिस सेट के सवालों को भी बनाना हितकर होगा. एक बात जोर देकर कहना चाहूंगा कि स्तरहीन स्टडी मैटेरियल्स, ऑनलाइन सब्सक्रिप्शन और यूट्यूब आदि से बचने की कोशिश करें.
डॉ अखिलेश कुमार, असिस्टेंट प्रोफेसर, पटना सायंस कॉलेज (पूर्व डीएसपी, 53वीं से 55वीं बीपीएससी में नौवीं रैंक)