बिहार विधानमंडल के मॉनसून सत्र (Bihar Vidhan Sabha Monsoon Session) का आज चौथा दिन है. आज भी भाजपा के द्वारा सदन में जोरदार हंगामा किया जा रहा है. सदन की कार्यवाही शुरू होते ही भाजपा विधायक वेल में आकर प्रदर्शन करने लगे. इसके बाद, सदन से भाजपा विधायक जीवेश कुमार को मार्शल ने हंगामा करने के कारण आउट किया है. भाजपा लैंड फॉर जॉब मामले में उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav) का इस्तीफा लेने पर अड़ी हुई है. वहीं, आज भाजपा के द्वारा पटना के गांधी मैदान से रोजगार और शिक्षक भर्ती में डोमिसाइल नीति लागू करने को लेकर हल्ला बोल विधानसभा मार्च का आयोजन किया जा रहा है. इसमें पूरे राज्य से बड़ी संख्या में शिक्षक अभ्यर्थी और युवाओं शामिल होने के लिए सुबह से ही पटना पहुंचने लगे हैं. भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष सम्राट चौधरी ने सरकार को तानाशाह बताते हुए कहा कि भाजपा इसे हटाने के लिए संकल्पित है.
BJP के रोजगार और शिक्षक भर्ती को लेकर विधानसभा मार्च को लेकर जिला प्रशासन के द्वारा बड़े स्तर पर तैयारी की गयी है. विधानसभा के बाहर गेट पर विशेष सुरक्षा के इंतजाम किये गए हैं. मार्च को देखते हुए 6 मजिस्ट्रेट, 3 DSP, 2 सीटी SP, 200 लाठी पार्टी, 50 से अधिक राइफल धारी, 50 महिला पुलिस सहित STF के जवान तैनात किये गए हैं.
भाजपा पर राज्य के युवाओं को धोखा देने का आरोप लगाते हुए जदयू के राष्ट्रीय महासचिव व प्रवक्ता राजीव रंजन ने सवाल किया है कि भाजपा अपने शासित राज्यों में डोमिसाइल नीति लागू क्यों नहीं करती? उन्होंने बुधवार को कहा कि एक तरफ यह लोग बिहार के युवाओं को डोमिसाइल के नाम पर उपद्रव करने के लिए भड़काते हैं, वहीं दूसरी तरफ अपने शासित राज्यों में इसे लागू करना तो दूर इस पर चर्चा तक नहीं करते. केंद्र सरकार भी उनकी ही है, वह बताये कि क्यों नहीं वह संसद के जरिये कानून लाकर इसे पूरे देश में लागू कर देते हैं?
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राजीव रंजन ने कहा कि भाजपा यह जानती है कि मौजूदा हालातों में डोमिसाइल नीति लागू करना किसी भी राज्य के लिए संभव नहीं है. भाजपा यह जानती है कि यदि सभी राज्यों में डोमिसाइल नीति लागू हो गयी तो इसका सबसे बड़ा नुकसान बिहार के युवाओं को ही उठाना पड़ेगा. हर कोई अच्छे से जानते हैं कि बिहारियों की सबसे बड़ी पूंजी मानव संसाधन ही है. बिहार के लोग बड़ी संख्या में देश के अन्य भागों में काम करते हैं. इसके बावजूद युवाओं को इस पर भड़काना भाजपा के दोहरे चरित्र को दर्शाता है. यह लोग चाहते हैं कि कोर्ट-कचहरी के चक्कर में यह बहालियां भी रुक जाएं और हमारे युवा अगले सात-आठ साल तक नौकरी से वंचित हो जाएं.