11.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

Shiv Chalisa: भगवान शिव शंकर को खुश करना बहुत ही आसान, यहां जानें शिव चालीसा पढ़ने के नियम और फायदे

Shiv Chalisa: शास्त्रों में शिव चालीसा के बारे में जिक्र किया गया है कि भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए शिव चालीसा बेहद प्रभावशाली है. अगर इसे पूरी श्रद्धा और सच्चे मन से किया जाए, तो भक्तों की सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं.

Shiv Chalisa: भगवान शिव का नाम जपने से भक्तों के सभी परेशानियां दूर हो जाती हैं. भगवान शिव सभी देवों में सबसे दयालु और कृपालु देव हैं. भगवान शिव की कृपा मात्र एक लोटा जल से भी पाई जा सकती है. शिव चालीसा के माध्यम से आप अपने आराध्य भगवान शिव को बड़े ही आसानी से प्रसन्न कर सकते हैं. भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए शास्त्रों में शिव चालीसा का भी वर्णन किया गया है. शास्त्रों में कहा गया है कि शिव चालीसा के नित्य पाठ से व्यक्ति समस्त प्रकार के भय, रोग और दुख से मुक्त हो जाते हैं. शिव चालीसा भगवान शिव की स्तुति में लिखी गयी 40 चौपाइयों का संग्रह है, जिसकी रचना संत अयोध्यादास ने की थी.

शिव चालीसा के नियम

शास्त्रों के अनुसार शिव चालीसा में भगवान शिव का स्तुतिगान किया गया है. वैसे तो शिव चालीसा किसी भी दिन किसी भी समय किया जा सकता है. शिव चालीसा का पाठ हममे से कई लोग करते हैं, लेकिन उन्हें पूर्ण फल की प्राप्ति नहीं हो पाती है. क्योंकि आपने शिव चालीसा का पाठ नियम, भक्ति और आस्था पूर्वक नहीं किया है.

Also Read: Shiv Chalisa Benefits: मान-सम्मान और तरक्की के लिए करें ये प्रभावशाली उपाय, जानें शिव चालीसा के नियम व फायदे
शिव चालीसा पढ़ने के फायदे

शास्त्रों में शिव चालीसा पाठ के कई फायदों के बारे में बताया गया है. शास्त्र में कहा गया है कि संसार में ऐसा कोई भी कार्य नहीं है, जिसे शिव चालीसा के मदद से नहीं किया जा सके. शिव चालीसा के पाठ से कठिन से कठिन और असंभव प्रतीत हो रहे कार्यों को भी बड़ी आसानी से पूर्ण किया जा सकता हैं. शिव चालीसा का पाठ करने से स्वास्थ्य संबंधी रोगों से मुक्ति मिलती है. वहीं, शिव चालीसा पढ़ने से व्यक्ति को नशे की लत से छुटकारा मिलता है और तनाव से भी राहत मिलती है.

शिव चालीसा पढ़ने के अनगिनत फायदे

गर्भवती महिलाएं शिव चालीसा का पाठ करें तो उन्हें शुभ फल की प्राप्ति होती है. इससे गर्भवती महिलाओं के बच्चों की रक्षा होती है. भगवान् शिव का एक नाम भोले भंडारी भी है अर्थात भगवान् शिव देवों के देव महादेव हैं. वे अत्यंत भोले स्वभाव के भी हैं. अयोध्यादास रचित शिव चालीसा के नित्य पाठ से भगवान् शिव अति शीघ्र प्रसन्न हो जाते हैं और अपने भक्तों के कष्टों को दूर कर देते हैं. मान्यता है कि जो भी व्यक्ति प्रातः काल नित्य रूप से शिव चालीसा का पाठ करता है, उसके जीवन की कठिनाइयां और बाधाएं स्वतः हीं दूर हो जाती हैं.

शिव चालीसा पढ़ने का नियम

  • शिव चालीसा के पाठ के लिए सबसे उत्तम समय ब्रह्म मुहूर्त को माना गया है.

  • स्नान-आदि से निवृत होने के बाद स्वक्ष वस्त्र धारण करें.

  • भगवान शिव के किसी भी पूजा में हमेशा हल्के रंग के वस्त्र पहने.

  • शिव चालीस के पाठ के लिए सफेद रंग के साफ सुथरे आसन या फिर कुश के आसन का प्रयोग करें.

  • शिव चालीसा पढ़ने के लिए ये उत्तम होगा की आपका मुख पूर्व दिशा या उत्तर दिशा या फिर उत्तर-पूर्व दिशा में हो.

  • शिव चालीसा के पाठ के पहले अक्षत, धुप, दीपक, सफेद चन्दन, माला और सफेद आक के 5 फूल रखें.

  • भगवान् शिव को भोग लगाने के लिए मिश्री या बतासे का प्रयोग करें.

  • ध्यान रहे भगवान को सफेद चीनी का भोग ना लगाएं.

  • पत्थर वाली मिश्री में किसी भी प्रकार की अशुद्धता नहीं होती है अतः इसे उत्तम माना गया है.

  • शिव चालीसा का पाठ करने के पहले गाय के घी का दीपक जलाएं.

  • पाठ करने के स्थान पर शिवजी के सम्मुख एक लोटे में शुद्ध जल भरकर रख लें.

  • अब हाथ में थोड़ा अक्षत, फूल और जल ले कर अपना नाम और गोत्र बोल कर संकल्प लें.

Also Read: Hanuman Chalisa: शनि दोष से मुक्ति पाने के लिए जरुर पढ़ें हनुमान चालीसा का पाठ, शनि पीड़ा से मिलेगी राहत

  • शिव चालीसा का पाठ विषम संख्या जैसे 3, 5, 11 बार करें. कम से कम 3 बार पाठ करना उत्तम है.

  • चालीसा का पाठ सही उच्चारण के साथ मध्यम या उच्च स्वर में बोल बोल करें. ऐसा करने से विशेष फल की प्राप्ति होती है.

  • शिव चालीसा का पाठ करते समय किसी भी प्रकार की जल्दबाजी नहीं करें.

  • शिव चालीसा को कंठस्त कर इसका पाठ उत्तम माना गया है.

  • आप शिव चालीसा हिंदी में पीडीऍफ़ डाउनलोड कर या शिव चालीसा पुस्तक से इसे पढ़ सकतें है.

  • शिव चालीसा के पाठ का सबसे जरुरी नियम ये है की आप पूर्ण भक्ति भाव, विश्वास और निष्ठा से इसका पाठ करें.

  • तनिक भी संदेह अपने मन में नहीं आने दें. यदि आपने ये साध लिया तो फल की प्राप्ति शत प्रतिशत निश्चित होगी.

  • शिव चालीसा का पाठ पूर्ण करने के बाद उठने के पहले एक बूंद जल आसन के पास गिराएं और उसका तिलक करें.

  • शिव चालीसा के पाठ करने के बाद लोटे में रखे जल को किसी फूल या पत्ते या अपने अंजुली से पूरे घर में छींट दें और बचे हुए जल को पी लें.

  • इस जल को अपने घर के सदस्यों को भी पीने के लिए दे सकतें हैं.

  • अब भगवान को चढ़े हुए प्रसाद को स्वयं और दूसरों को दें.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें