29.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

IT Sector के लिए बड़ी चिंता, रेवेन्यू में आएगी बड़ी गिरावट, रेटिंग एजेंसी ICRA ने जारी किया रिपोर्ट

इक्रा ने मांग में नरमी को मंदी का कारण बताते हुए कहा कि आय वृद्धि वित्त वर्ष 2022-23 में दर्ज 9.2 प्रतिशत से घटकर 2023-24 में 3-5 प्रतिशत रह जाएगी.

भारतीय आईटी सेवा क्षेत्र (IT Sector) की आय वृद्धि चालू वित्त वर्ष में घटकर तीन प्रतिशत रह जाएगी, जो पिछले वित्त वर्ष में 9.2 प्रतिशत थी. घरेलू रेटिंग कंपनी इक्रा रेटिंग्स (ICAR) ने मंगलवार को यह अनुमान जताया. रेटिंग एजेंसी ने कहा कि चालू वित्त वर्ष 2023-24 में क्षेत्र के मुनाफे में भी गिरावट होगी और परिचालन लाभ मार्जिन एक प्रतिशत तक कम होकर 20-21 प्रतिशत रह जाएगा. इक्रा ने मांग में नरमी को मंदी का कारण बताते हुए कहा कि आय वृद्धि वित्त वर्ष 2022-23 में दर्ज 9.2 प्रतिशत से घटकर 2023-24 में 3-5 प्रतिशत रह जाएगी. एजेंसी के आईटी सेवा क्षेत्र के प्रमुख दीपक जोतवानी ने कहा कि आईटी कंपनियों के लिए प्रमुख बाजारों में ‘लगातार अनिश्चितता’ बनी हुई है, जिसके चलते गैर-महत्वपूर्ण परियोजनाओं में रुकावट जारी है. उन्होंने बताया कि बैंकिंग, वित्तीय सेवाओं और बीमा, खुदरा, प्रौद्योगिकी तथा संचार जैसे प्रमुख क्षेत्रों द्वारा विवेकाधीन आईटी खर्च में कमी की गई है.

भर्तियों में उल्लेखनीय कमी बनी बड़ा कारण

इक्रा ने कहा कि अमेरिका और यूरोप के प्रमुख बाजारों में आर्थिक बाधाओं के कारण भारतीय आईटी सेवा कंपनियों की वृद्धि में 2022-23 की तीसरी तिमाही से 2023-24 की पहली तिमाही के बीच तेज गिरावट हुई है. चालू वित्त वर्ष के अंत में हालात कुछ बेहतर होने की उम्मीद है. इक्रा ने कहा कि वृद्धि में कमी के कारण पिछली तीन तिमाहियों में भर्तियों में उल्लेखनीय कमी आई है और यह रुझान निकट अवधि में भी जारी रहेगा.

पहली तिमाही में जीडीपी वृद्धि दर 8.5 प्रतिशत रहेगी

भारत की सकल घरेलू उत्पाद (GDP) की वृद्धि दर चालू वित्त वर्ष की पहली (अप्रैल-जून) तिमाही में बढ़कर 8.5 प्रतिशत रह सकती है. इक्रा रेटिंग्स ने मंगलवार को जारी एक रिपोर्ट में यह अनुमान लगाया है. इससे पिछली यानी जनवरी-मार्च की तिमाही में आर्थिक वृद्धि दर 6.1 प्रतिशत रही थी. रेटिंग एजेंसी ने कहा कि अनुकूल आधार प्रभाव और सेवा क्षेत्र में सुधार के चलते वृद्धि तेज रहने का अनुमान है. भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने अप्रैल-जून, 2023 की तिमाही में वृद्धि दर 8.1 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है. इस तरह इक्रा का अनुमान केंद्रीय बैंक के अनुमान से अधिक है. इक्रा की मुख्य अर्थशास्त्री अदिति नायर ने कहा कि चालू वित्त वर्ष की दूसरी छमाही में विपरीत परिस्थितियां देखने को मिल सकती हैं. उन्होंने कहा कि अनियमित बारिश, एक साल पहले की जिंस कीमतों के मुकाबले अंतर कम होने और सरकारी पूंजीगत व्यय की गति में कमी की आशंका बनी हुई है.

Also Read: Reliance AGM 2023: मुकेश अंबानी ने एजीएम में ग्राहकों को दिया बड़ा तोहफा, एयर फाइबर और 999 में फोन जल्द

चुनाव का वृद्धि दर पर पड़ेगा असर

अदिति नायर ने कहा कि संसदीय चुनावों के करीब पहुंचने के साथ जीडीपी की वृद्धि दर सीमित रहेगी. इक्रा ने वित्त वर्ष 2023-24 के लिए अपने वृद्धि अऩुमान को छह प्रतिशत पर बरकरार रखा है. यह आरबीआई के 6.5 प्रतिशत के अनुमान से कम है. नायर ने कहा कि पहली तिमाही में बेमौसम भारी बारिश, मौद्रिक सख्ती का असर कम होने और कमजोर बाहरी मांग के कारण जीडीपी वृद्धि पर दबाव पड़ा है.

Also Read: Business News Live: मारुति आठ वर्षों में क्षमता दोगुनी करने को करेगी 45 हजार करोड़ रुपये निवेश

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें