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यात्रियों को नमाज पढ़ने देने के लिए नौकरी से निकाले गए बस कंडक्टर मोहित ने की आत्महत्या, अखिलेश ने सरकार घेरी

शव सोमवार की तड़के जनपद मैनपुरी में क्षत-विक्षत हालत में मिला था. मोहित ने लगभग तीन महीने पहले बरेली में दो मुस्लिम यात्रियों को नमाज पढ़ने की अनुमति देने के लिए दिल्ली जाने वाली बस को कथित तौर पर रोकने के कारण अपनी नौकरी खो दी थी.

लखनऊ. उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम (यूपीएसआरटीसी) का एक बस कंडक्टर मोहित यादव (32)अपने पैतृक गांव के पास रेलवे ट्रैक पर मृत पाया गया . उसका शव सोमवार की तड़के जनपद मैनपुरी में क्षत-विक्षत हालत में मिला था. मोहित ने लगभग तीन महीने पहले बरेली में दो मुस्लिम यात्रियों को नमाज पढ़ने की अनुमति देने के लिए दिल्ली जाने वाली बस को कथित तौर पर रोकने के कारण अपनी नौकरी खो दी थी. वह अपने पैतृक गांव के पास रेलवे ट्रैक पर मृत पाया गया था. हालांकि कोई सुसाइड नोट नहीं मिला है, लेकिन मोहित के परिवार ने दावा किया कि उसने चलती ट्रेन के आगे कूदकर अपनी जान दे दी क्योंकि वह अपनी बर्खास्तगी रद्द नहीं कराने के कारण मानसिक और आर्थिक रूप से तनाव में था.

10 साल से संविदा पर रोडवेज में कर रहा था काम

मोहित और बस चालक केपी सिंह के खिलाफ कार्रवाई 3 जून की घटना के दो दिन बाद की गई जब इस प्रकरण का एक वीडियो वायरल हो गया. यूपीएसआरटीसी के नियमित कर्मचारी केपी सिंह को निलंबित कर दिया गया. मोहित, एक संविदा कर्मचारी था और लगभग 10 साल से यूपीएसआरटीसी के साथ काम कर रहा था.मोहित के पड़ोसी संतोष यादव ने बताया कि मोहित हाल ही में खेती में अपने परिवार की मदद कर रहा था. “वह अपनी नौकरी पर लौटने की बात करता था, उनका मानना ​​था कि उनकी सेवा समाप्त करने की कार्रवाई जल्दबाजी में की गई थी.

बिना किसी कारण नौकरी से हटाने से अवसाद में था मोहित

मैनपुरी में एक ट्रैवल एजेंसी चलाने वाले मोहित यादव के चचेरे भाई टिंकू यादव ने कहा कि मोहित को लगा कि उसे बिना किसी कारण नौकरी से हटा दिया गया है. कुछ यात्रियों द्वारा उन्हें बाथरूम जाने की अनुमति देने का अनुरोध करने के बाद बस रोक दी गई. इसी बीच दो यात्री नमाज पढ़ने लगे. अधिकारियों ने घटना के वीडियो के आधार पर कार्रवाई की. मोहित या ड्राइवर से स्पष्टीकरण नहीं मांगा. मोहित उदास था क्योंकि उसे बहाल नहीं किया जा सका. मोहित की पत्नी रिंकी ने कहा कि मेरे पति अपनी सैलरी से घर चला रहे थे. परिवार में सबसे बड़े सदस्य होने के नाते उनके कंधों पर जिम्मेदारियां थीं. नौकरी छूटने के कारण वह अवसाद में चला गए और आत्महत्या कर ली

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बहाली का आवेदन समिति के समक्ष रखा जाना था : ARM

ड्राइवर केपी सिंह ने भी घटना के टिंकू यादव की बात का का समर्थन किया है. उन्होंने बताया कि तीन जून को जब उनकी बस पड़ोसी जिले रामपुर पहुंची तो कुछ यात्रियों ने बाथरूम जाने के लिए बस रोकने का अनुरोध किया. बस रुकी तो दो यात्री सड़क किनारे नमाज पढ़ने लगे. उन्होंने बताया कि बस उस स्थान पर करीब तीन मिनट तक रुकी रही. वहीं यूपीएसआरटीसी के सहायक क्षेत्रीय प्रबंधक (बरेली) संजीव श्रीवास्तव ने कहा कि जांच के बाद मोहित और केपी सिंह के खिलाफ कार्रवाई की गई. “मोहित ने उन्हें एक और मौका देने के लिए एक आवेदन प्रस्तुत किया था, आवेदन को एक समिति के समक्ष रखा जाना था.

दोस्त से मिलने की बात कहकर घर से निकला

नगला कुशली गांव में पत्नी, एक चार साल का बेटा और तीन भाई के साथ रह रहा मोहित रविवार शाम परिवार को यह कहकर घर से निकला कि वह एक दोस्त से मिलने जा रहा है. बाजार से कुछ सामान खरीदकर लाएगा. सोमवार सुबह मोहित के परिवार को सूचना मिली कि उसका शव रेलवे ट्रैक के पास पड़ा है. वे मौके पर पहुंचे और शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा. पुलिस ने उसके पहचान पत्र समेत उसके सामान से उसकी पहचान की, जिस ट्रैक पर मोहित का शव मिला वह घर से लगभग एक किलोमीटर दूर है.

जीआरपी को गैंगमैन से शव के बारे में जानकारी मिली

राजकीय रेलवे पुलिस (जीआरपी) मैनपुरी के थाना प्रभारी अरविंद कुमार ने कहा कि उन्हें एक गैंगमैन से शव के बारे में जानकारी मिली जब वह रेलवे ट्रैक का निरीक्षण कर रहे थे. “जब पुलिस पहुंची तो पीड़ित का फोन बज रहा था. हमने कॉल उठाया और उसकी पहचान के बारे में पता चला. इस बीच स्थानीय लोग भी पहुंचे और शव की पहचान की. परिजनों ने लिखित में दिया है कि ट्रैक पार करते समय वह ट्रेन के संपर्क में आ गया. मामले की जांच करायी जायेगी.”

इस मामले में कार्रवाई सरकारी नियमों के अनुसार की गई. लोगों की शिकायत के बाद तीन महीने पहले कार्रवाई गई थी. परिवहन मंत्री ने बताया कि , मोहित यादव के बारे में पता चला है कि वह कुछ नशा करने लगा था. किसी का भी खुदकुशी करना दुर्भाग्यपूर्ण है, लेकिन वह इतना ही नाराज था तो वह खुदकुशी उस वक्त ही कर सकता था. किसी का भी खुदकुशी करना दुर्भाग्यपूर्ण है, लेकिन 3 महीने बाद हुई इस मौत की जांच होनी चाहिए.

दयाशंकर सिंह , परिवहन मंत्री

सरकारी नौकरी और 50 लाख का मुआवजा दे सरकार

कंडक्टर मोहित यादव की मौत पर सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने ट्वीट कर सरकार को घेरा है. उनकी पार्टी ने पीड़ित के परिवार में से किसी को सरकारी नौकरी देने की मांग की है. समाजवादी पार्टी के प्रवक्ता अनुराग भदौरिया का कहना है कि कंडक्टर मोहित यादव के परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी और 50 लाख का मुआवजा सरकार दे. समाजवादी पार्टी ने भी पीड़ित परिवार को दो लाख रुपये की मदद कर रही है.

कांग्रेस प्रवक्ता सुरेंद्र राजपूत ने कहा कि वर्तमान सरकार का डर समाज के हर वर्ग में कहीं ना कहीं मानवता को शर्मसार कर रहा है. अगर किसी ने गाड़ी रोककर किसी की धर्म की चीज को करा दिया तो उसका वीडियो वायरल करना और फिर उसे नौकरी से निकाल देना यह कहां का न्याय है. एक विशेष वर्ग के खिलाफ चाहे वह नूंह की घटना हो या फिर मैनपुरी की या फिर बरेली, ऐसी घटनाएं मानवता और सरकार को शर्मशार कर रही हैं. 

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