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बिहार पुलिस वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग और फेसबुक लाइव के जरिए सुनेगी शिकायतें, पटना समेत सात जिलों में हुई शुरुआत

बिहार में जन शिकायतों की सुनवाई को लेकर जिला से लेकर पुलिस मुख्यालय में सुबह 11 से दोपहर एक बजे तक का समय निर्धारित है. इसमें दोपहर 12 से 1 बजे तक अब तकनीकी माध्यम से जन शिकायत सुनी जायेगी. वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग और फेसबुक लाइव के जरिए शिकायत सुनने की शुरुआत सात जिलों में शुरू हो चुकी है.

बिहार पुलिस अब वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग और फेसबुक लाइव के माध्यम से भी पीड़ितों की शिकायत सुनेगी. इसके लिए दोपहर 12 से एक बजे तक का समय निर्धारित रहेगा. फिलहाल यह व्यवस्था पटना सहित सात जिले दरभंगा, मुजफ्फरपुर, भोजपुर, समस्तीपुर, कटिहार और गोपालगंज में ट्रायल के तौर पर लागू कर दी गयी है. एक महीने के ट्रायल के बाद तकनीकी माध्यम से जन शिकायत सुने जाने व इसके निबटारे की पूरी प्रणाली तैयार की जायेगी. बिहार पुलिस के एडीजी मुख्यालय जितेंद्र सिंह गंगवार ने इस बात की जानकारी देते हुए बताया कि टना में ग्रामीण SP वीडियो कांफ्रेस के माध्यम से और सिटी SP सेंट्रल फेसबुक लाइव के जरिए आम लोगों की शिकायत सुनेंगे.

सुदूर क्षेत्रों के आवेदकों को होगी सुविधा

बिहार पुलिस के एडीजी मुख्यालय जितेंद्र सिंह गंगवार ने शुक्रवार को नियमित ब्रीफिंग में बताया कि वर्तमान में जन शिकायतों की सुनवाई को लेकर जिला से लेकर पुलिस मुख्यालय में सुबह 11 से दोपहर एक बजे तक का समय निर्धारित किया हुआ है. इसमें दोपहर 12 से 1 बजे तक अब तकनीकी माध्यम से जन शिकायत सुनी जायेगी. इसका फायदा होगा कि सुदूर क्षेत्रों से जिला मुख्यालय नहीं पहुंच पाने वाले आवेदक भी अपनी शिकायतें वरीय पदाधिकारी तक पहुंचा सकेंगे.

वीसी के लिए थाना या अंचल स्तर पर होगी व्यवस्था

वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग के लिए थाना या अंचल स्तर पर व्यवस्था की जायेगी. संबंधित व्यक्ति थाने पर जाकर रजिस्ट्रेशन करायेंगे, जहां से उनको वाट्सअप या मैसेज के माध्यम से टाइम स्लॉट दिया जायेगा. इस टाइम स्लॉट पर वे संबंधित जगह पर मौजूद रह कर वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से एसपी के समक्ष अपनी बात रख सकेंगे. जिला पुलिस के आधिकारिक फेसबुक हैंडल पर प्रतिदिन दोपहर 12 से एक बजे तक फेसबुक लाइव कार्यक्रम भी चलेगा. इसमें आम लोग चैट के माध्यम से अपनी बात रखेंगे.

अध्ययन के बाद तैयार होगी शिकायत निवारण प्रणाली

एडीजी मुख्यालय ने बताया कि फिलहाल पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर वीसी या फेसबुक लाइव का चयन किया गया है. भविष्य में गूगल मीट या अन्य माध्यमों का भी इस्तेमाल किया जा सकता है. शुक्रवार को पटना ग्रामीण और नगर एसपी ने फेसबुक लाइव के माध्यम से शिकायतें सुनी. उन्होंने कहा कि अगले एक महीने तक इस व्यवस्था का अध्ययन किया जायेगा. इस प्लेटफॉर्म पर दूसरे विभागों से जुड़ी शिकायतें भी मिल सकती है. इसको देखते हुए सभी शिकायतों के निवारण की बेहतर प्रणाली विकसित की जायेगी.

कटिहार में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से एसपी ने फरियादियों की सुनी जन शिकायत

पुलिस मुख्यालय के निर्देश पर वीडियो कांफ्रेसिंग के माध्यम से कटिहार एसपी ने शुक्रवार को जन सुनवाई की. इस दौरान ऑन द स्पॉट वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग करते हुए एसपी ने संबंधित पुलिस पदाधिकारी को फरियादियों की शिकायत पर कार्रवाई करते हुए 50 से अधिक मामलों का निष्पादन किया. शुक्रवार को 11 बजे से एक बजे तक एसपी जितेंद्र कुमार ने जिले के विभिन्न थाना क्षेत्र के फरियादियों की शिकायत वीडियो कांफ्रेसिंग के माध्यम से ऑनलाइन सुनी. इसके पश्चात जिला के सभी थाना के थानाध्यक्ष एवं ओपीअध्यक्ष तथा पुलिस निरीक्षक व अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी को उक्त मामले की जांच कर त्वरित कार्रवाई करने का निर्देश दिया.

50 से अधिक आवेदनों का हुआ निष्पादन, लंबित आवेदन के लिए तय की गयी समय सीमा

कटिहार एसपी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से करीब 50 से अधिक लोगों के साथ सीधे विभिन्न थानों से थाना अध्यक्ष/ओपीध्यक्ष के साथ जुड़ने वाले फरियादियों के शिकायत को सुना. ठीक इसी प्रकार पुलिस कार्यालय में आए फरियादियों को संबंधित थाना के थानाध्यक्ष व ओपी अध्यक्ष के साथ जोड़कर वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से ही ऑन स्पॉट उसकी शिकायत को सुना गया. उक्त शिकायत को उसके प्रकृति के अनुसार 24 घंटा, 48 घंटा से लेकर एक सप्ताह के अंदर निष्पादित करने का लक्ष्य संबंधित थाना अध्यक्ष/ओपीध्यक्ष को दिया गया. साथ ही निष्पादन के उपरांत उक्त संदर्भ में प्रतिवेदन अधोहस्ताक्षरी को समर्पित करने का निर्देश दिया गया.

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क्या कहते हैं एसपी

कटिहार एसपी जितेंद्र कुमार ने बताया कि फरियादी एवं पुलिस पदाधिकारी, जांचकर्ता दोनों आमने सामने होंगे. जिस कारण पारदर्शिता बनी रहेगी और न्याय मिलने में आसान रहेगा. इसमें पुलिस पदाधिकारियों की जवाबदेही भी तय होगी. सभी पदाधिकारी को एक समय सीमा के अंदर विधिवत कार्रवाई करने की बाध्यता होगी. इसमें लोगों से फीडबैक भी लिया जायेगा. ताकि जन सुनवाई को और बेहतर से बेहतर किया जा सकें.

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