30.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

World Cup 2023: टूर्नामेंट के इतिहास में सर्वश्रेष्ठ व्यक्तिगत प्रदर्शन, एमएस धोनी का नाम भी लिस्ट में

भारत पांच अक्टूबर से वर्ल्ड कप 2023 की मेजबानी के लिए पूरी तरह तैयार है. भारतीय टीम ट्रॉफी की प्रबल दावेदार है. भारत के पास तीसरा वर्ल्ड कप जीतने का पूरा मौका है. 2011 में जिस टीम ने भारत को दूसरा वर्ल्ड कप दिलाया था, उसकी तुलना में आज भी हमारे पास एक मजबूत टीम है.

भारत में होने वाला आईसीसी क्रिकेट विश्व कप 2023 बस कुछ ही दिन दूर है. भारत मेजबानी के लिए पूरी तरह तैयार है और यह पहली बार हो रहा है कि विश्व कप की मेजबानी भारत अकेले कर रहा है. विश्व कप आते ही, हर टीम और खिलाड़ी यह खिताब जीतने की उम्मीद के साथ अपना ए-गेम लेकर आते हैं. विश्व कप के आयोजन में क्रिकेट के कुछ सबसे प्रभावशाली, गेम-चेंजिंग प्रदर्शन देखे गए हैं, जो टूर्नामेंट के लिए टीमों और खिलाड़ियों की भूख और तैयारी को उजागर करते हैं. क्रिकेट के इस महाकुंभ की शुरुआत के बाद से कई खिलाड़ियों ने खुद को इतिहास की किताबों में अमर कर लिया है. हम यहां वैसे ही कुछ खिलाड़ियों के व्यक्तिगत प्रदर्शन की बात करन वाले हैं. ऐसे करीब एक दर्जन प्रदर्शन हुए हैं जो टीम के लिए काफी जरूरी साबित हुए थे. टीम इंडिया के सबसे सफल कप्तान महेंद्र सिंह धोनी के नाम भी ऐसा एक प्रदर्शन दर्ज है, जो उन्हें इतिहास के पन्नों में अमर बनाता है.

गौतम गंभीर (97) और एमएस धोनी (91) बनाम श्रीलंका : विश्व कप 2011 फाइनल

ये दोनों वो पारियां हैं जिन्होंने 28 साल बाद भारत को विश्व कप का गौरव वापस दिलाया. श्रीलंका के खिलाफ भारत 31/2 पर पिछड़ गया था. लेकिन फिर, गौतम गंभीर ने पलटवार करते हुए 122 गेंदों में नौ चौकों की मदद से 97 रन बनाए. विराट कोहली के 35 रन पर आउट होने के बाद कप्तान एमएस धोनी मैदान पर उतरे और गौतम के साथ चौथे विकेट के लिए 109 रन की मैच जिताऊ साझेदारी की. धोनी ने 79 गेंदों में आठ चौकों और दो छक्कों की मदद से नाबाद 91 रन बनाए. 2003 विश्व कप फाइनल में ऑस्ट्रेलिया से मिली करारी हार से जुड़ा दुख विजयी छक्के के साथ दूर हो गया. माही ने अपने स्टाइल में मैच को खत्म किया और परिणाम भारत के पक्ष में था. भारत दूसरी बार विश्व विजेता बना.

Also Read: World Cup 2023: वर्ल्ड कप मैच को लेकर 15 गुना तक बढ़ गया होटलों का किराया, जानें कहां का रेंट सबसे ज्यादा

रिकी पोंटिंग (140) बनाम भारत : विश्व कप 2003 फाइनल

दुनियाभर में भारतीय दर्शकों ने तब राहत की सांस ली जब एडम गिलक्रिस्ट और मैथ्यू हेडन के बीच शुरुआती शतकीय साझेदारी खत्म हो गई. जिससे ऑस्ट्रेलियाई टीम 125/2 पर सिमट गई. लेकिन इसके बाद होने वाली तबाही का अंदाजा किसी को नहीं था. रिकी पोंटिंग ने क्रीज पर कदम रखा और डेमियन मार्टिन (88*) के साथ साझेदारी करते हुए भारतीय गेंदबाजों पर जोरदार हमला बोला. भारतीय टीम आगे कोई विकेट नहीं ले सकी और पोंटिंग 121 गेंदों में चार चौकों और आठ गगनचुंबी छक्कों की मदद से 140* रन बनाकर पवेलियन लौटे. ऑस्ट्रेलिया 359/2 पर पहुंच गया. उन्होंने अपने कुल का आसानी से बचाव किया और भारत को खेल के इतिहास में सबसे कठिन हार का सामना करना पड़ा.

कपिल देव (175*) बनाम जिम्बाब्वे : विश्व कप 1983

भारत को अपनी सेमीफाइनल की उम्मीदों को जिंदा रखने के लिए जिम्बाब्वे के खिलाफ मैच जीतना जरूरी था, लेकिन पीटर रॉसन और केविन कुरेन ने कुछ घातक तेज गेंदबाजी से भारत की महत्वाकांक्षाओं पर पानी फेर दिया. जिससे भारत 17/5 पर सिमट गया. भारत को करारी हार का सामना करना पड़ता, लेकिन कपिल देव आखिरी उम्मीद थे. यह ऑलराउंडर भारत के लिए अंतिम संकटमोचक साबित हुआ, उसने 138 गेंदों में 16 चौकों और छह छक्कों की मदद से 175* रन बनाए. रोजर बिन्नी, मदन लाल और सैयद किरमानी के साथ साझेदारी करके कपिल ने भारत को 266/8 के उल्लेखनीय स्कोर तक पहुंचाया. भारत केवल वही मैच नहीं जीता, फाइनल में वेस्टइंडीज को हराकर वर्ल्ड ट्रॉफी भी घर ले आया.

मार्टिन गुप्टिल (237) बनाम वेस्टइंडीज : विश्व कप 2015

जब क्रिस गेल ने 2015 विश्व कप में जिम्बाब्वे के खिलाफ 219 रन बनाए और ऐसा करने वाले पहले गैर-भारतीय खिलाड़ी बने, तो ऐसा लगा कि गेल की पारी को वर्षों तक चुनौती नहीं दी जाएगी. हालांकि, कुछ ही दिनों बाद कीवी ओपनर मार्टिन गुप्टिल ने गेल की ही टीम के खिलाफ एक और मास्टरक्लास पेश किया. गुप्टिल ने वेस्टइंडीज के हर गेंदबाज की बेरहमी से पिटाई की और 163 गेंदों में 24 चौकों और 11 छक्कों की मदद से 237 रन बनाए, जो आज तक विश्व कप के इतिहास में सर्वोच्च स्कोर और वनडे क्रिकेट में दूसरा सबसे बड़ा स्कोर है. न्यूजीलैंड ने विंडीज को 250 रन पर समेट दिया, जबकि लक्ष्य 394 का था.

Also Read: World Cup 2023: कई दावेदार, मगर यहां के हम सिकंदर, वर्ल्ड कप से पहले जानें टीम इंडिया का दम

युवराज सिंह (113 और 2/18) बनाम वेस्टइंडीज : विश्व कप 2011

भारत और वेस्टइंडीज के बीच ग्रुप चरण का मैच एक मैच, अन्य मैच की तरह ही था जब तक कि भारतीय हरफनमौला खिलाड़ी युवराज सिंह की खांसी के कारण पिच पर खून नहीं आया और उन्होंने ड्रेसिंग रूम में उल्टी नहीं कर दी. युवराज अनजाने में उन परिस्थितियों और समीकरणों के अलावा कैंसर के खिलाफ जीवन की सबसे बड़ी लड़ाई लड़ रहे थे. लेकिन इसके बावजूद युवराज ने हार नहीं मानी, 113 रन बनाए और 18 रन देकर 2 विकेट लेकर भारत को मैच में जीत दिलाने में मदद की. इस मैच और प्रदर्शन ने युवराज के 2011 विश्व कप अभियान को परिभाषित किया. एक अलौकिक प्रयास जिसने उन्हें जीवन-घातक बीमारी से लड़ते हुए भारत को 28 साल बाद विश्व कप जीतने में मदद की. पूरे टूर्नामेंट में उन्होंने 362 रन बनाए और 15 विकेट लिए.

लसिथ मलिंगा (4/54) बनाम दक्षिण अफ्रीका : विश्व कप 2007

मलिंगा का जादू सिर्फ एक तेज गेंदबाज की तरह दिखता है. लेकिन इसके साथ ही मलिंगा अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में लगातार चार गेंदों पर चार विकेट लेने वाले पहले गेंदबाज बन गए. उन्होंने रॉबिन पीटरसन के विजयी रन बनाने तक 210 रन के लक्ष्य का पीछा करते हुए 207 रन पर नौ विकेट गिराकर दक्षिण अफ्रीका को अपने “चोकर्स” टैग को लगभग सही ठहराने के लिए मजबूर कर दिया. दक्षिण अफ्रीका ने एक बिना परिणाम वाला सुपर आठ मैच जीता, लेकिन मलिंगा ने इतिहास रच दिया.

सौरव गांगुली (183) बनाम श्रीलंका विश्व कप 1999

श्रीलंका के खिलाफ भारत के ग्रुप चरण में, गांगुली ने विश्व कप इतिहास में किसी भारतीय द्वारा खेली गई सर्वश्रेष्ठ पारियों में से एक खेली. उनकी 158 गेंदों में 17 चौकों और सात छक्कों की मदद से 183 रन की पारी और राहुल द्रविड़ (145) के साथ 318 रन की साझेदारी ने भारत को 373/6 के मैच विजयी स्कोर तक पहुंचाया. इस दस्तक के कारण धीरे-धीरे पूरी भारतीय बल्लेबाजी में आक्रामक दृष्टिकोण का समावेश हो गया, जो बाद के विश्व कप में दिखाई दिया.

Also Read: World Cup 2023, Team India SWOT Analysis: दमखम के साथ उतरेगी टीम इंडिया, जानें मजबूत और कमजोर पक्ष

गैरी गिल्मर (28* और 6/14) बनाम इंग्लैंड : विश्व कप 1975 सेमीफाइनल

घरेलू मैदान पर खेलते हुए, 1975 विश्व कप के सेमीफाइनल में इंग्लैंड ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ प्रबल दावेदार था. लेकिन तेज गेंदबाज गैरी गिल्मर ने ऐसा कहर बरपाया कि इंग्लैंड एक समय 37/7 पर सिमट गया और पूरी टीम 93 रन पर आउट हो गयी. बाद में 94 रन के लक्ष्य का पीछा करते हुए ऑस्ट्रेलिया ने चार विकेट से जीत दर्ज की. गिल्मर ने बल्ले से नाबाद 28 रन बनाए. उन्होंने 12 ओवर में 14 रन देकर 6 विकेट चटकाए.

चामिंडा वास (6/25) बनाम बांग्लादेश : विश्व कप 2003

बांग्लादेश और श्रीलंका के बीच ग्रुप स्टेज के इस मैच में तेज गेंदबाज चामिंडा वास ने पारी की पहली तीन गेंदों पर तीन विकेट चटकाए और विरोधियों को 0/3 पर ला खड़ा किया. उन्होंने क्रिकेट के इतिहास में सबसे विनाशकारी हैट्रिक में से एक को पूरा किया. उन्होंने 9.1 ओवर में 6/25 का आंकड़ा पेश किया, जिससे बांग्लादेश को 124 रनों पर समेटने में मदद मिली. श्रीलंका ने 10 विकेट शेष रहते जीत हासिल कर ली.

इयोन मोर्गन (148) बनाम अफगानिस्तान : विश्व कप 2019

इंग्लैंड और अफगानों के बीच ग्रुप स्टेज मैच के दौरान, कप्तान इयोन मोर्गन ने अफगानिस्तान के गेंदबाजों, खासकर स्पिनर राशिद खान पर क्रूर हमला किया. किसी को भी नहीं बख्शा गया क्योंकि मॉर्गन ने मैदान के किसी भी कोने को अछूता नहीं छोड़ा. उन्होंने 71 गेंदों में चार चौकों और 17 छक्कों की मदद से नाबाद 148 रन बनाए, जो एक वनडे पारी में अब तक का सबसे बड़ा स्कोर है. इंग्लैंड 397 के मैच विजयी कुल तक पहुंच गया और टी20 सनसनी राशिद नौ ओवर में 110 रन देकर महज एक क्लब गेंदबाज बनकर रह गए.

Also Read: World Cup 2023: बेन स्टोक्स की वापसी से इंग्लैंड की टीम मजबूत, जानें Weakness और Strength

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें