निरसा/ मुगमा (धनबाद), अरिंदम चक्रवर्ती, सुरेश पासवान : धनबाद में एक बार फिर अवैध खनन के दौरान चाल धंसने से बड़ा हादसा हो गया है. घटना गलफरबाड़ी ओपी क्षेत्र के कापासारा आउटसोर्सिंग की है, जहां सोमवार की अहले सुबह अवैध कोयला उत्खनन के दौरान चाल धंसने से दो लोगों की मौत हो गई है, जबकि करीब दस-बारह के दबने की आशंका है. घटना को लेकर स्थानीय लोगों में आक्रोश है. स्थानीय लोग ईसीएल प्रबंधन को घटना के लिए जिम्मेदार ठहरा रहे हैं. मृतकों में एक एग्यारकुंड दक्षिण पंचायत के सियारकनाली निवासी यमुना राजवंशी (37) और केशरकूलर निवासी तापस दास (24) हैं. घटना के बाद आउटसोर्सिंग परिसर में सन्नाटा पसरा हुआ है. गोपनीय रूप से प्रबंधन सूत्र के लोग आना-जाना कर रहे हैं. घटनास्थल से महज 100 मीटर की दूरी पर स्थित कोलियरी कार्यालय के अधिकारी एवं कर्मी तत्काल इस मामले में कुछ भी बताने से परहेज कर रहे हैं. हालांकि, घटनास्थल के समीप ईसीएल प्रबंधन की ओर से जेसीबी मशीन लगाकर भराई का काम शुरू करवा दिया गया है. पुलिस प्रशासन से जुड़े कोई भी अधिकारी मौके पर नहीं पहुंचे हैं.
कैसे घटी घटना
घटना के संबंध में बताया जाता है कि रविवार की देर रात एक दर्जन से अधिक लोग अवैध खनन करने के लिए कापासारा ओसीपी के मुहाने में प्रवेश कर गए. हाल के करीब चार माह से कोलियरी का उत्पादन तकनीकी एवं न्यायिक कारणों से बाधित है. इधर ओसीपी प्रबंधन द्वारा जहां बेंच कटिंग कर उत्पादन किया गया था. जिसे 200-300 से अधिक कोयला तस्करों द्वारा खोलकर रख दिया गया है. इसी अवैध खदान में कोयला उत्पादन के दौरान यह घटना घटी है.
पहले हुआ सुरंग, फिर किया पानी प्रवेश….बाद में अफरा तफरी के बाद गई जान
ओसीपी के विपरीत दिशा में खदान के ऊपर तालाब जिसे स्थानीय लोग गर्म खाद बोलते हैं. वहां अचानक करीब 50 फीट के दायरे में गहरा गोफ बन गया. इसके बाद तालाब एवं आसपास के ईसीएल का बड़ा नाला का पूरा पानी गोफ में प्रवेश कर गया. गौफ का सीधा लिंक ओसीपी के साथ था. गोफ का पानी करीब 200 फीट की दूरी पर स्थित ओसीपी में अंदर ही अंदर प्रवेश कर गया. अचानक पानी प्रवेश होते ही अवैध उत्खनन करने वाले लोगों के बीच अफरा तफरी मच गई. अवैध उत्खनन करने वाले लोग अपने द्वारा निकाले गए अवैध मुहाने से जहां उत्खनन कर रहे थे. उसके पिलर को ही काट रहे थे. इसी दौरान अचानक पूरे खदान में पानी प्रवेश कर गया. जिससे दो लोगों की मौत घटनास्थल पर ही हो गई. आधा दर्जन लोगों के दबे होने की आशंका जताई जा रही है, जो पश्चिम बंगाल एवं मधुपुर क्षेत्र के रहने वाले बताए जा रहे हैं.
गोपनीय रूप से दबंग ठेकेदारों ने शव को पहुंचाया मृतक के घर, छोड़ा क्षेत्र
इधर स्थानीय दो लोगों की मौत मलबा में दबने से हो जाने के बाद स्थानीय दबंग ठेकेदार, जो मजदूरों के माध्यम से अवैध कोयला का उत्खनन करवाते हैं, दोनों शव को देर रात ही बाहर निकाल लिया और गोपनीय ढंग से दोनों के शव को उनके दरवाजे पर रख दिया. इसके बाद सभी दबंग ठेकेदार भाग निकले. दबंग ठेकेदार जो गरीब, असहाय मजदूरों को सब्जबाग दिखाकर प्रतिदिन मौत के मुहाने में भेजते हैं. वे घटना के बाद अपना-अपना गांव छोड़कर भाग खड़े हुए.
निरसा का कोयला, बरवा, गोविंदपुर का फैक्ट्री गुलजार, ऐसे होती है तस्करी
बताया जाता है कि धनबाद के निरसा क्षेत्र में अवैध कोयला की तस्करी पर हाल के दिनों में अंकुश लग गई है, लेकिन कोयला तस्करों ने तस्करी का तरीका बदल दिया है. अब फाउंड्री एवं रीफैक्ट्री के माध्यम से अवैध कोयला तस्करी को जारी रखा है. इसके अलावा स्कूटर, मोटरसाइकिल, मिनी हाईवा एवं पिकअप वैन के माध्यम से प्रतिदिन अवैध कोयला को बरवा गोविंदपुर क्षेत्र के चिन्हित उद्योगों में भेजा जा रहा है. इसमें प्रतिदिन 500 स्कूटर मोटरसाइकिल, 200 से अधिक मिनी हाईवा एवं पिकअप वैन के माध्यम से तस्करी हो रही है.
खाकी और खादी का है संरक्षण प्राप्त
कापासारा ओसीपी जहां घटना घटी है. वहां डिपार्टमेंटल एवं प्रबंधन की ओर से कोयला उत्पादन का कार्य बंद है. अब पूरा क्षेत्र ही कोयला तस्करों के हवाले कर दिया गया है. ओसीपी बंद होने का मुख्य कारण किसी मामले में इसके संचालन को लेकर कोर्ट में केस होना एवं जमीन उपलब्ध नहीं होना बताया जा रहा है. दबंग कोयला तस्करों द्वारा खाकी एवं खादी का संरक्षण प्राप्त होने के बाद बाहर से अवैध कोयला उत्खनन करने वाले मजदूरों को लाकर कोयला उत्खनन करवाया जा रहा है. जिसे स्कूटर मोटरसाइकिल, पिक अप वैन के माध्यम से गोविंदपुर भेजी जा रहा है. सुबह से लेकर शाम तक पूरे एनएच में यह अवैध कोयला कारोबार संचालित है.
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