केंद्रीय दूरसंचार मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा है कि सरकार चाहती है कि भारत में दूरसंचार सेवाएं दुनिया में सबसे सस्ती बने रहे. दूरसंचार उद्योग के संगठन सेल्युलर ऑपरेटर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया के अनुसार, दूरसंचार कंपनियां पिछले साल शुरू हुई 5जी सेवा का मौद्रीकरण नहीं कर पायी हैं.
वैष्णव ने इंडिया मोबाइल कांग्रेस (आइएमसी) 2023 के दौरान एक इंटरव्यू में कहा कि सरकार की ओर से हम पूरी तरह स्पष्ट हैं. हम चाहेंगे कि दूरसंचार सेवा पूरी दुनिया में सबसे सस्ती बनी रहे. आज सभी बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में भारत का दूरसंचार क्षेत्र सबसे किफायती है.
Also Read: New Telecom Bill: नया दूरसंचार विधेयक कब तक आयेगा, अश्विनी वैष्णव ने बताया
विश्लेषकों के अनुसार, दूरसंचार परिचालकों को 5जी नेटवर्क के निर्माण में किये जा रहे निवेश को निकालने के लिए अगले तीन साल में प्रति ग्राहक औसत कमाई (एआरपीयू) को 270-300 रुपये करने की जरूरत होगी.
वर्तमान में भारत में एआरपीयू 140-200 रुपये के बीच है, जबकि वैश्विक औसत 600-850 रुपये है और चीन में यह लगभग 580 रुपये है. कहा कि चार मोबाइल सेवाप्रदाताओं में से अभी भारती एयरटेल और रिलायंस जियो ने 5जी सेवाएं शुरू की हैं और 5जी नेटवर्क में उनका संयुक्त निवेश स्पेक्ट्रम की लागत सहित लगभग तीन लाख करोड़ रुपये होने का अनुमान है.