Loksabha Election 2024: देश में राजस्थान, मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनाव में करारी शिकस्त के बाद कांग्रेस (Congress) लोकसभा चुनाव 2024 की उम्मीद को लेकर तैयारियों में जुट गई है. 80 लोकसभा सीटों वाले उत्तर प्रदेश में कुछ बेहतर होने की आस में पार्टी राहुल गांधी (Rahul Gandhi) की भारत जोड़ो यात्रा (Bharat Jodo Yatra) की तर्ज पर परिवर्तन यात्रा (Congress Parivartan Yatra) शुरू करने जा रही है. पार्टी नेताओं का उम्मीद है कि इस यात्रा के जरिए लोकसभा चुनाव में कांग्रेस को संजीवनी मिलेगी. कहा जा रहा है इसमें प्रदेश प्रभारी और राष्ट्रीय महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा (Priyanka Gandhi Vadra) भी शामिल होंगी. प्रियंका का नाम एक बार फिर ऐसे समय में सामने आया है, जब चुनाव के चंद महीने बचे हैं. एक तरफ सत्ता में होने के बावजूद भाजपा जहां चौबीस घंटे सातों दिन चुनावी मोड में रहती है और उसके कार्यक्रम लगातार जारी रहते हैं, वहीं यूपी में मुख्य धारा में आने के लिए तरस रही कांग्रेस के नेताओं का ये व्यवहार कार्यकर्ताओं का भी मनोबल तोड़ने वाला है. हालत ये है कि यूपी विधानसभा चुनाव के बाद से कांग्रेस कार्यकर्ताओं को प्रियंका गांधी वाड्रा के दर्शन नहीं हुए हैं. यूपी की प्रभारी के तौर पर उनका वही हाल है, जो कभी गुलाम नबी आजाद का था. पार्टी के शीर्ष नेतृत्व ने बृजलाल घाबरी की जगह अजय राय की प्रदेश अध्यक्ष पद पर ताजपोशी करके इतिश्री कर ली है. ये स्थिति तब है कि जब पिछले लोकसभा चुनाव में पार्टी का गढ़ अमेठी भी ढह चुका है. यूपी में उसके पास सिर्फ एकमात्र लोकसभा सीट रायबरेली है, जिस पर भाजपा काफी पहले से ही नजरें गढ़ाए हुए है. सोनिया गांधी अधिक उम्र और स्वास्थ्य कारणों से अब रायबरेली नहीं आती हैं. ऐसे में कांग्रेस की नई रणनीति काम करेगी, इस पर अभी से सवाल उठने लगे हैं.
उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव 2022 में कांग्रेस के निराशाजनक प्रदर्शन के बाद से प्रियंका गांधी वाड्रा केवल एक बार यूपी कांग्रेस मुख्यालय पहुंची हैं. चुनाव परिणाम आने के दो महीने के बाद वह विगत एक जून को कांग्रेस दफ्तर पहुंची थीं. तब उन्होंने पहले से ज्यादा मेहनत करने और कमियों की समीक्षा करके उसे सुधारने की बात तब कही थी. हालांकि धरातल पर ऐसा कुछ नजर नहीं आया. वर्ष 2019 में प्रियंका गांधी वाड्रा की आधिकारिक तौर पर राजनीति में एंट्री हुई थी और उन्हें यूपी का प्रभारी बनाया गया था. हालांकि उनको जिम्मेदारी दिए जाने के बाद भी कांग्रेस का ग्राफ बढ़ा नहीं है. चुनाव दर चुनाव नाकामी ही मिली है.
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प्रियंका को पार्टी का यूपी प्रभारी बनाए जाने के बाद कई वरिष्ठ नेता साइडलाइन कर दिए गए. इसे लेकर उन्होंने नाराजगी भी जताई और कार्यशैली पर सवाल उठाए. हालांकि मामला गांधी परिवार से जुड़ा होने के कारण कुछ नहीं हुआ. वहीं अब पार्टी की ओर से फिर दावा किया जा रहा है कि भारत जोड़ो यात्रा की तर्ज पर यूपी में परिवर्तन यात्रा से बेहतर नतीजे मिलेंगे.
लोकसभा चुनाव के मद्देनजर यूपी कांग्रेस सहारनपुर से सीतापुर के नैमिषारण्य तक पदयात्रा निकालेगी. 9 जनपदों से होकर गुजरने वाली इस यात्रा का रूट मैप तैयार कर लिया गया है. इसे 20 दिसंबर से शुरू करने की तैयारी है. लोकसभा चुनावों के मद्देनजर युवाओं, महिलाओं और किसानों को जोड़ने के मद्देनजर कांग्रेस ने परिवर्तन यात्रा निकालने की घोषणा की थी. जानकारी के मुताबिक तकरीबन 25 दिनों का यह कार्यक्रम तैयार किया गया है. यात्रा की शुरुआत सहारनपुर में गंगोह से होगी. इसके बाद यात्रा बिजनौर, अमरोहा, मुरादाबाद, रामपुर, बरेली, शाहजहांपुर, लखीमपुर खीरी होते हुए नैमिषारण्य पहुंचेगी. बताया जा रहा है कि बीते दिनों लखनऊ में कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष अजय राय की अध्यक्षता में एक बैठक हुई थी, जिसमें यूपी में कांग्रेस के संगठन को मजबूत बनाने के लिए भारत जोड़ो यात्रा की तर्ज पर परिवर्तन पदयात्रा निकालने का सुझाव दिया गया था, पार्टी के तमाम अधिकारियों ने इस पर अपनी सहमति जताई थी, जिसके बाद आगामी चुनाव को देखते इसका कार्यक्रम तैयार किया गया है.