हजारीबाग : हड़ताल खत्म होने के बाद यात्रियों ने राहत की सांस ली. बुधवार से हजारीबाग में यात्री बसें चलने लगीं. दो दिनों की बंदी के कारण यात्रियों की संख्या में कमी दिखी. शहर क्षेत्र में ऑटो व टोटो भी चलने लगे हैं. दुर्घटना होने पर ड्राइवर से लाखों रुपये जुर्माना की वसूली और जुर्माना राशि नहीं देने पर लगभग 10 वर्षों की कठोर सजा जैसे हिट एंड रन कानून के विरुद्ध लोग गोलबंद हो गये थे. सभी ड्राइवर की हड़ताल पर चले जाने से एक व दो जनवरी को छोटी-बड़ी सभी यात्री बसें खड़ी रही. ट्रांसपोर्ट वाहन, ऑटो व टोटो भी पूरी तरह से बंद होने पर इसका जनजीवन पर असर पड़ा है. दो दिनों में लगभग करोड़ों रुपये का कारोबार प्रभावित हुआ है.
कल्लू चौक स्टैंड, सरकारी बस स्टैंड, जिप बस स्टैंड, ग्वालटोली चौक स्टैंड, डिस्ट्रिक्ट मोड़ स्टैंड, बगोदर-सरिया रूट स्टैंड व केरेडारी-टंडवा रूट स्टैंड पर बुधवार से यात्री वाहन रोज की तरह चालू किया गया. दो दिनों से वीरान पड़े सभी यात्री स्टैंड आस-पास दुकान व बाजार में चहल-पहल लोटने लगी.
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जिला बस ओनर एसोसिएशन के महासचिव प्रदीप प्रसाद ने कहा कि हिट एंड रन किसी भी ड्राइवर को परेशान करने वाला कानून है. इसे लागू करने से पहले केंद्र सरकार को विचार-विमर्श कर निर्णय लेना होगा. दो दिनों के हड़ताल से हजारीबाग जिले में करोड़ों रुपये का कारोबार प्रभावित हुआ है. बड़ी संख्या में यात्री परेशान रहे. रोजमर्रा के काम में जुड़े लोगों को सबसे अधिक परेशानी हुई है. प्रदीप प्रसाद ने कहा कि केंद्र सरकार को आम जनता के हितों को ध्यान में रखकर काम करने की आवश्यकता है.