उत्तराखंड की राजधानी देहरादून में पिछले साल 9 नवंबर को हुई 20 करोड़ के सोना लूट कांड की साजिश पटना के बेउर जेल से रची गयी थी. इस घटना को अंजाम देने की प्लानिंग शशांक सिंह उर्फ सोनू राजपूत और सोना लुटेरा गिरोह का सरगना सुबोध सिंह ने मिलकर की थी. कब, कहां और कितने लोग घटना को अंजाम देंगे, लूटकांड के बाद अपराधी कहां भागेंगे इसकी पूरी प्लानिंग शशांक लूटकांड के आरोपितों समझा दिया था. यही नहीं हथियार और वाहन की भी व्यवस्था शशांक ने जेल में बैठे-बैठे ही करवा दी थी.
नेपाल भागने की तैयारी में था शशांक
इस संबंध में पुलिस सूत्रों ने बताया कि बेऊर जेल से दोनों मैसेंजर समेत अन्य आरोपियों ने एप के माध्यम से अपराधियों को इस पूरी साजिश के बारे में समझाया था. खुद यह बात शशांक ने देहरादून पुलिस को गिरफ्तारी के बाद पूछताछ के दौरान बतायी. उसने बताया कि वह नेपाल भागने वाला था. उसे पता था कि वह जैसे ही जेल से बाहर निकलेगा उसकी गिरफ्तारी हो जाएगी.
जेल से निकलते ही हुआ गिरफ्तार
इससे पहले कि शशांक जेल से निकलने के बाद नेपाल भाग पाता, उसका इंतजार कर रही बिहार एसटीएफ और देहरादून पुलिस ने उसे जेल से छूटते ही गिरफ्तार कर लिया. सोमवार को टीम ने शशांक को कोर्ट में पेश किया और देहरादून पुलिस ने उसे तीन दिन की ट्रांजिट रिमांड पर लिया है.
पश्चिम बंगाल में 2016 और 2017 में 83 किलो सोना लूटा
सुबोध सिंह और उसके साथी शशांक ने मिलकर बिहार व पश्चिम बंगाल में 83 किलो सोना लूटकांड की घटना को अंजाम दिया था. मिली जानकारी के अनुसार इन दोनों ने 2016 में पश्चिम बंगाल के बैरकपुर स्थित मनपुरम से 28 किलो सोना और 2017 में आसनसोल के मुथुट फाइनेंस से 55 किलो सोना लूटकांड की घटना को अंजाम दिया था.
इन दोनों के गिरोह में बिहार, यूपी, पश्चिम बंगाल और ओडिसा के सोना लुटेरा शामिल है. जेल में बंद दोनों लूट कांड की साजिश को रचते हैं और गिरोह के सदस्य घटना को अंजाम देते हैं. इसके बाद उसे बेचकर पैसा बांट लेते हैं.
शशांक समेत 11 आरोपित मामले में हो चुके हैं गिरफ्तार
इस मामले में देहरादून की पुलिस ने शशांक समेत बिहार और यूपी के 11 आरोपित को गिरफ्तार किया है. गिरफ्तार आरोपितों में वैशाली के बिदुपुर का प्रिंस, सीतामढ़ी के बसंतपुर का अखिलेश कुमार उर्फ अभिषेक उर्फ गांधी, वैशाली के बिदुपुर का विक्रम कुमार कुशवाहा, मधुबनी के विसंभरापुर निवासी कुंदन कुमार, पटना के फुलवारी शरीफ निवासी मो. आदिल खान, मुजफ्फरपुर के साहेबगंज निवासी आशीष कुमार, यूपी के अमरोहा निवासी अकबर, वैशाली के सराय निवासी अमृत कुमार, मुजफ्फरपुर का चंदन कुमार उर्फ सुजीत और वैशाली के बिदुपुर का विशाल कुमार शामिल है.
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क्या था मामला
दरअसल, पिछले साल 9 नवंबर को देहरादून में राष्ट्रपति का दौरा था. सभी पुलिसकर्मी ड्यूटी पर लगे थे. इसी दौरान गिरोह ने कोतवाली थाना क्षेत्र स्थित रिलायंस ज्वेल्स के शो रूम में स्टाफ और ग्राहक को बंधक बना कर 20 करोड़ का सोना और हीरा लूट लिया था और फिर फरार हो गए थे. आरोपियों ने महज 10 मिनट के अंदर इस पूरे घटना को अंजाम दिया गया.
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