रांची : झामुमो ने कहा है कि ईडी की पक्षपातपूर्ण कार्रवाई से राज्य की जनता में आक्रोश है. जनता का आक्रोश इतना बढ़ रहा है कि कहीं यह वीभत्स रूप न ले ले. झामुमो ने इडी को सलाह दी है कि वे ऐसा कोई कदम न उठाये जिससे उनकी विश्वसनीयता पर सवाल उठे. यह बात झामुमो के महासचिव सह प्रवक्ता सुप्रियो भट्टाचार्य ने प्रदेश कार्यालय में आयोजित प्रेस कांफ्रेंस में कही. उन्होंने कहा कि इडी ने सीएम को आठवां समन भेजा है. इसके जवाब में सीएम ने 20 जनवरी को इडी को अपने सरकारी आवास में ही पूछताछ के लिए बुलाया है.
सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा कि गांव-गांव में लोग कह रहे हैं कि जब सरकार जनता के पास आकर काम कर रही है तो ईडी उसके काम को रोकने के लिए यह सब कर रही है. यही वजह है कि राज्य सरकार ने कैबिनेट में फैसला लिया कि इडी पहले सवाल सरकार को भेजे तो सरकार पूरा सहयोग करेगी. इडी अपनी पारदर्शिता और विश्वसनीयता बरकरार रखे ऐसी उम्मीद है. सुप्रियो ने सवाल उठाते हुए कहा कि इडी बताये कि अब तक की छापामारी में किसके पास से क्या बरामद हुआ है. उन्होंने कहा कि इडी कभी इसकी जानकारी नहीं देता. इसी से साबित होता है कि एक साजिश के तहत इडी की कार्रवाई होती है.
उन्होंने कहा कि इडी के साथ हमें राजनीतिक लड़ाई लड़ने को बाध्य किया जा रहा है. इडी के खिलाफ लोगों का आक्रोश बढ़ता जा रहा है. कहीं लोगों का आक्रोश बाहर न निकल कर आ जाये. श्री भट्टाचार्य ने चेतावनी देते हुए कहा कि इडी राजनीतिक कार्यकर्ता की तरह काम नहीं करे, नहीं तो हमें भी राजनीतिक लड़ाई के लिए उतरना पड़ेगा. श्री भट्टाचार्य ने कहा कि इडी के समन या नोटिस की जानकारी बाहर कैसे निकल कर सामने आती है. जबकि यह जानकारी पब्लिक डोमेन में नहीं डाली जाती है. यहां तक कि जो जवाब भेजा जाता है, उसकी भी सूचना इडी की तरफ से लीक हो जाती है. इससे जाहिर होता है कि राज्य सरकार को परेशान करने के लिए यह सब किया जाता है. उन्होंने कहा कि राज्य की जनता के बीच इडी की इस कार्रवाई को लेकर आक्रोश है. इडी सिर्फ भ्रम की स्थिति पैदा कर रहा है. पूर्व में समन देकर 14 अगस्त को सीएम को बुलाया गया था. जबकि इस दिन सीएम कितना व्यस्त होते हैं, यह सब को पता होता है.
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सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा कि वर्ष 2024 चुनावी वर्ष है. तीन से छह महीना महत्वपूर्ण होते हैं. इस दौरान राजनीतिक दल की ओर से किये गये कार्यों का प्रचार-प्रसार किया जाता है. लोकसभा चुनाव की प्रक्रिया मई तक पूरी कर लेनी है. लेकिन इससे ठीक पहले केंद्रीय एजेंसियों की कार्रवाई दर्शाता है कि भाजपा द्वारा पहले धर्म के नाम पर, संप्रदाय के नाम पर और इडी की कार्रवाई के नाम पर डराया जा रहा है. मध्य प्रदेश,छत्तीसगढ़ और राजस्थान में चुनाव आचार संहिता लागू होने के बाद भी इडी की कार्रवाई होती रही. जिसका फायदा भाजपा को मिला. ऐसा ही अब झारखंड में किया जा रहा है.
इडी के पूर्व के समन का जवाब देने को सीएम तैयार नहीं थे. अब आठवें समन का जवाब देने को क्यों तैयार हैं. इस सवाल पर श्री भट्टाचार्य ने कहा कि तरह-तरह के राजनीतिक कयास लगाये जा रहे थे. इस कयास को समाप्त करने के लिए ही मुख्यमंत्री ने इडी को 20 जनवरी के दिन जवाब देने के लिए अपने आवास पर बुलाया है.
साहिबगंज. इडी की ओर से सीएम हेमंत सोरेन को भेजे जा रहे समन के विरोध में 17 जनवरी को झामुमो जिला कमेटी ने साहिबगंज बंद का आह्वान किया है. बंद की पूर्व संध्या पर मंगलवार शाम साहिबगंज में झामुमो कार्यकर्ताओं ने मशाल जुलूस निकाला. इसका नेतृत्व सांसद विजय हांसदा, पूर्व मंत्री हेमलाल मुर्मू और जिलाध्यक्ष एस अंसारी कर रहे थे. सांसद विजय ने कहा कि केंद्र सरकार व सेंट्रल एजेंसियां सीएम की छवि को धूमिल करने का प्रयास कर रही है. इसे बर्दाश्त नहीं किया जायेगा. हेमलाल मुर्मू ने बताया कि शांतिपूर्ण बंद का आह्वान किया गया है.