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IIMC को यूजीसी ने दिया “डीम्ड यूनिवर्सिटी” का दर्जा, डिप्लोमा की जगह अब मिलेगी डिग्री

आईआईएमसी को डीम्ड यूनिवर्सिटी का दर्जा मिल गया है. अब संस्थान कई तरह के कई जनसंचार शिक्षा, प्रशिक्षण और अनुसंधान को बढ़ावा दे सकेगा. अब यूनिवर्सिटी ऑटोनॉमस मोड में काम कर सकती है.

इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ मॉस कम्यूनिकेशन द्वारा अब डिप्लोमा की जगह डिग्री दी जाएगी. यूजीसी द्वारा आईआईएमसी को अब डीम्ड यूनिवर्सिटी का दर्जा मिल चुका है. इस दर्जे को प्राप्त करने के बाद संस्थान डिप्लोमा की जगह डिग्री प्रदान कर सकेगा.भारतीय जनसंचार संस्थान ने इसकी पुष्टि अपने ऑफिशियल सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स के जरिए की है. विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) ने अगस्त में एचआरडी मंत्रालय को आईआईएमसी को डीम्ड यूनिवर्सिटी का दर्जा देने की सिफारिश की थी.

डीम्ड यूनिवर्सिटी का दर्जा

आईआईएमसी नई दिल्ली और इसके पांच क्षेत्रीय परिसरों यानि मिजोरम, जम्मू और कश्मीर ,अमरावती, कोट्टायम और केरल को डीम्ड यूनिवर्सिटी का दर्जा दिया गया है. सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स पर जारी पोस्ट के अनुसार आईआईएमसी नई दिल्ली और इसके पांच क्षेत्रीय केंद्रों को डीम्ड यूनिवर्सिटी के रूप में नामित किया गया है. आईआईएमसी जनसंचार शिक्षा, प्रशिक्षण और अनुसंधान को आगे बढ़ाने लगातार प्रयासरत रहेगा.

डीम्ड यूनिवर्सिटी क्या है?

डीम्ड यूनिवर्सिटी की मान्यता प्राप्त करने से यूनिवर्सिटी ऑटोनॉमस मोड यानि स्वतंत्र रूप से काम कर सकती है. स्टेटस मिलने से स्टूडेंट आईआईएमसी से ग्रेजुएट, डॉक्टो रल और पोस्ट ग्रेजुएट की डिग्री हासिल कर सकते हैं. विश्वविद्यालय अब स्वतंत्र रूप से अपने लिए नया कोर्स स्ट्रक्चर भी डिजाइन कर सकता है और परीक्षा करा सकता है.

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आईआईएमसी संस्‍थान की स्‍थापना 17 अगस्त, 1965 को भारत सरकार के सूचना और प्रसारण मंत्रालय के अंतर्गत की गई थी. डीम्ड यूनिवर्सिटी’ का दर्जा मिलने पर आईआईएमसी की ओर से शिक्षा मंत्रालय को धन्यवाद कहा गया है. आईआईएमसी भारतीय सूचना सेवा (IIS) अधिकारियों के लिए प्रशिक्षण अकादमी भी है. आईआईएमसी की ओर से एक्स पर लिखा गया कि आईआईएमसी को डीम्ड यूनिवर्सिटी का दर्जा देने का विचार कोई नया नहीं है. सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय ने 2016 में इस योजना को मंजूरी दी थी. पत्र जारी होने के 3 साल के भीतर संस्थान कम से कम पांच पीजी विभाग शुरू करेगा.

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