13.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

Toyota का यह मिनी ट्रक जब बना आडवाणी का ‘रामरथ’, बीआर चोपड़ा के महाभारत से प्रेरित था डिजाइन, ऐसी थीं खूबियां

लालकृष्ण आडवाणी की रथयात्रा की रूपरेखा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तैयार की थी. 12 सितंबर 1990 को लालकृष्ण आडवाणी ने रथ यात्रा का ऐलान किया था. उस समय नरेंद्र मोदी गुजरात भाजपा के संगठन सचिव थे.

Lal Krishna Advani Ram Rath: 1990 का लालकृष्ण आडवाणी की रामरथ यात्रा तो याद ही होगी. आपको यह भी याद होगा कि इस रथयात्रा के बाद राम मंदिर आंदोलन ने जोर पकड़ा था. तब आपको यह भी याद होगा कि भाजपा के वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी ने सोमनाथ से अयोध्या तक रथयात्रा की थी. लेकिन, आप यह कहां जानते होंगे कि जिस रथ पर सवार होकर आडवाणी रथयात्रा कर रहे थे, उसमें किस वाहन का इस्तेमाल किया गया था? यकीनन आप इसे नहीं जानते होंगे. हम आपको बताते हैं कि 1990 में लालकृष्ण आडवाणी ने जिस वाहन पर सवार होकर सोमनाथ से अयोध्या तक की रथयात्रा की थी, उसमें डीसीएम टोयोटा मिनी ट्रक का रथ बनाया गया था और इसका डिजाइन उस समय बीआर चोपड़ा के महाभारत टीवी सीरियल में इस्तेमाल किए जाने वाले रथों से प्रेरित था.

13 सितंबर 1990 को नरेंद्र मोदी ने पेश की थी रूपरेखा
Undefined
Toyota का यह मिनी ट्रक जब बना आडवाणी का 'रामरथ', बीआर चोपड़ा के महाभारत से प्रेरित था डिजाइन, ऐसी थीं खूबियां 7

आपको यह जानकर भी हैरानी होगी कि लालकृष्ण आडवाणी की रथयात्रा की रूपरेखा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तैयार की थी. 12 सितंबर 1990 को लालकृष्ण आडवाणी ने रथ यात्रा का ऐलान किया था. उस समय नरेंद्र मोदी गुजरात भाजपा के संगठन सचिव थे, 13 सितंबर 1990 को उन्होंने रथयात्रा की रूपरेखा तैयार की थी. 25 सिंतबर 1990 को गुजरात के सोमनाथ से यह रथयात्रा शुरू हुई थी, जो 30 अक्टूबर 1990 को अयोध्या पहुंची थी. नरेंद्र मोदी राजनीति के इस दूरगामी मिशन के बैकरूम मैनेजर थे.

मशहूर आर्ट डायरेक्टर शांति देव ने तैयार की रथ का डिजाइन
Undefined
Toyota का यह मिनी ट्रक जब बना आडवाणी का 'रामरथ', बीआर चोपड़ा के महाभारत से प्रेरित था डिजाइन, ऐसी थीं खूबियां 8

मीडिया की रिपोर्ट के अनुसार, लालकृष्ण आडवाणी ने पहले सोमनाथ से अयोध्या तक पदयात्रा करने पर विचार कर रहे थे. लेकिन, भाजपा के युवा नेता दिवंगत प्रमोद महाजन ने उन्हें सलाह दी थी कि यह लंबी यात्रा है, जिसे पैदल पूरा करना आसान नहीं है. तब आडवाणी ने उनसे सवाल पूछा था कि तब जीपयात्रा की जाए. इसके बाद प्रमोद महाजन ने अपने साथी और उस समय के मशहूर आर्ट डायरेक्टर शांति देव को आडवाणी के रथ तैयार करने की जिम्मेदारी सौंपी. वे उनके साथ मुंबई के चेंबूर इलाके में नलावडे परिवार के वर्कशॉप गए. वहां उन्होंने प्रकाश नलावडे से मुलाकात की. प्रमोद महाजन ने आर्ट डायरेक्ट शांति देव को रथ को डिजाइन करने और उसका निर्माण करने की जिम्मेदारी प्रकाश नलावडे को सौंपी.

प्रमोद महाजन ने पहले से ही तैयार कर रखा था खाका
Undefined
Toyota का यह मिनी ट्रक जब बना आडवाणी का 'रामरथ', बीआर चोपड़ा के महाभारत से प्रेरित था डिजाइन, ऐसी थीं खूबियां 9

मीडिया से बातचीत के दौरान प्रकाश नलावडे ने कहा था कि जब प्रमोद महाजन ने उन्हें रथ बनाने की जिम्मेदारी सौंपी, तो उन्होंने कहा कि उन्होंने कभी रथ तैयार नहीं किया है. इस पर महाजन ने कहा कि आपको कुछ नहीं करना है. आपको डिजाइन तैयार करके शांति देव देंगे. आपको उसके हिसाब से रथ तैयार करना है. उन्होंने बताया कि प्रमोद महाजन ने पहले से ही रथ का स्वरूप, रथ में इस्तेमाल होने वाले वाहन और वस्तुओं, रथ का स्ट्रक्चर वगैरह का खाका तैयार कर रखा था.

डीसीएम टोयोटा मिनी ट्रक पर बनाया गया रथ
Undefined
Toyota का यह मिनी ट्रक जब बना आडवाणी का 'रामरथ', बीआर चोपड़ा के महाभारत से प्रेरित था डिजाइन, ऐसी थीं खूबियां 10

प्रकाश नलावडे ने मीडिया को बताया कि बातचीत के दो घंटे बाद ही डीएसएम टोयोटा मिनी ट्रक हमारी वर्कशॉप में आ गया. रथ बनाने के लिए केवल 10 दिन का समय दिया गया था. उन्होंने कहा कि 25 सितंबर से यात्रा शुरू होनी थी और हम लोगों को 22 सितंबर तक हर हाल में इस तैयार कर गुजरात भेज देना था. चुनौतियां कई थीं. रथ बनाना आसान नहीं था. रथ को कई उबड़ खाबड़ रास्तों, गांवों, पहाड़ी इलाकों से गुजरना था. इसीलिए तय किया गया कि रथ में लकड़ी का इस्तेमाल नहीं किया जाएगा. रथ को मजबूत बनाने के लिए सिर्फ लोहे की पत्तियों का इस्तेमाल किया जाएगा. जरूरत की हर चीजें एक घंटे के अंदर मिल जाती थीं.

बीआर चोपड़ा के महाभारत से प्रेरित था रथ का डिजाइन
Undefined
Toyota का यह मिनी ट्रक जब बना आडवाणी का 'रामरथ', बीआर चोपड़ा के महाभारत से प्रेरित था डिजाइन, ऐसी थीं खूबियां 11

उन्होंने कहा कि जिस दौर में हम लोग रथ तैयार कर रहे थे, उस समय बीआर चोपड़ा का महाभारत टीवी सीरियल काफी पॉपुलर था. रथ की बात सोचते ही लोगों के मन में घोड़ों का ख्याल आ जाता था. महाभारत के रथ में घोड़े आगे ही होते थे. एक दिन आर्ट डायरेक्टर शांति देव ने कहा कि रथ के दोंनो तरफ सिंह के आकार लगाए जाएंगे. मैंने पूछा रथ में तो घोड़े होते हैं, फिर ये सिंह क्यों? इस पर उन्होंने कहा कि हम हिंदू शेर हैं और शेर अपने भगवान राम के पास जा रहा है. उन्होंने लोहे के पत्ते पर शेर का चित्र बनाया और इस डिजाइन को काटने के लिए मुझे दिया. लोहे के पत्ते पर बने चित्र को कट करने का काम बेहद बारीकी से करना होता था, क्योंकि अगर जरा-सी भी गलती हुई तो पूरा डिजाइन बिगड़ जाएगा.

Also Read: मारुति न टाटा… टोयोटा सिर फिर सजा ताज! रथ को देखने के लिए जब उमड़ जाती थी भीड़
Undefined
Toyota का यह मिनी ट्रक जब बना आडवाणी का 'रामरथ', बीआर चोपड़ा के महाभारत से प्रेरित था डिजाइन, ऐसी थीं खूबियां 12

उन्होंने कहा कि जब हम लालकृष्ण आडवाणी का रथ बना रहे थे, तो चेंबूर की वर्कशॉप पूजा स्थल बन गया था. दूर-दूराज के इलाके से लोग इस रथ को देखने के लिए आते थे. राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के स्वयंसेवक घंटों तक निहारा करते थे. भाजपा के बड़े नेता भी रोजाना आया करते थे. प्रमोद महाजन, मुरली मनोहर जोशी सहित कई बड़े भाजपा नेता रात के समय वर्कशॉप में आकर काम का जायजा लेते थे. कड़ी मेहनत के बाद 10 दिनों के भीतर टोयोटा के मिनी ट्रक को एक विशाल सुंदर रथ में तब्दील में कामयाबी मिली.

Also Read: TOYOTA की इस सेडान के क्या कहने, भारत में लॉन्च होते ही छा जाएगी सड़कों पर!

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें