लखनऊ: यूपी सरकार के बजट में स्वास्थ्य के लिए खजाना खोल दिया गया. खासतौर से राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (NHM) के विभिन्न कार्यक्रमों के संचालन के लिए 7350 करोड़ रूपये की व्यवस्था प्रस्तावित है. इसके अलावा वाराणसी में राजकीय मेडिकल कॉलेज के लिए 400 करोड़ रुपये का प्रस्ताव है. प्रधानमंत्री आयुष्मान भारत हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर मिशन योजना के अंतर्गत प्रदेश में ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्र में हेल्थ वेलनेस सेंटर केयर यूनिट, इंटीग्रेटेड पब्लिक हेल्थ लैब की स्थापना के लिए 952 करोड़ रुपये की व्यवस्था की गई है.
आयुष्मान भारत मुख्यमंत्री जन आरोग्य अभियान के लिए वित्तीय वर्ष 2024-2025 में 300 करोड़ रुपये प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना के लिए 322 करोड़ रुपए, पं. दीनदयाल उपाध्याय राज्य कर्मचारी कैशलेस चिकित्सा योजना के अंतर्गत प्राइवेट अस्पतालों में कैशलेस उपचार 150 करोड़ रुपये की व्यवस्था की गई है. असाध्य रोगों के मुफ्त इलाज के लिए 125 करोड़ रुपये दिए गए हैं. राजकीय मेडिकल कॉलेजों में ट्रॉमा सेंटर लेवल-द्वितीय को लेवल-एक ( 100 बेड)/ एपेक्स ट्रामा सेंटर (200 बेड) में उच्चीकृत करने के लिए 300 करोड़ रुपये दिए गए हैं.
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आयुष विभाग के अन्तर्गत प्रमुख रूप से महायोगी गुरू गोरखनाथ आयुष विश्वविद्यालय, गोरखपुर का निर्माण कार्य पूर्ण किये जाने, अयोध्या में राजकीय आयुर्वेदिक महाविद्यालय, वाराणसी में राजकीय होम्योपैथिक मेडिकल कालेज की स्थापना की जाएगी.
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आयुष्मान भारत कार्यक्रम के तहत प्रदेश में 1600 हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर स्थापित किया जाना है. 1035 राजकीय आयुर्वेदिक होम्योपैथी एवं यूनानी चिकित्सालयों को हेल्थ वेलनेस सेंटर में परिवर्तित किया जा रहा है.
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प्रदेश के विभिन्न जनपदों में वर्तमान में 2110 आयुर्वेदिक, 254 यूनानी एवं 1585 होम्योपैथी चिकित्सालयों के साथ ही 08 आयुर्वेदिक, 2 यूनानी और 9 होम्योपैथी कालेज व उनसे संबद्ध चिकित्सालय क्रियाशील हैं.
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45 जनपद मेडिकल कॉलेज खुल चुके हैं. 14 जनपदों में केंद्र सरकार से वित्त पोषित मेडिकल कॉलेज निमाणाधीन हैं. 16 असेवित जनपदों में निजी निवेश के माध्यम से मेडिकल कॉलेज स्थापित किया जाना प्रस्तावित है.