झारखंड हाइकोर्ट ने दुमका के हंसडीहा में स्पेनिश बोलनेवाली महिला (ब्राजीलियाई नागरिक) टूरिस्ट से हुई गैंगरेप की घटना को गंभीरता से लेते हुए उसे स्वत: संज्ञान से जनहित याचिका में तब्दील कर दिया. सोमवार को मामले की सुनवाई करते हुए एक्टिंग चीफ जस्टिस एस चंद्रशेखर व जस्टिस नवनीत कुमार की खंडपीठ ने मामले में मुख्य सचिव, गृह सचिव, डीजीपी व दुमका एसपी को प्रतिवादी बनाया. साथ ही दुमका के एसपी को जांच रिपोर्ट प्रस्तुत करने का निर्देश दिया. वहीं, खंडपीठ ने अधिवक्ता ऋतु कुमार को मामले में एमिकस क्यूरी नियुक्त किया. मामले की अगली सुनवाई के लिए खंडपीठ ने सात मार्च की तिथि निर्धारित की.मामले की सुनवाई करते हुए खंडपीठ ने मौखिक रूप से कड़ी टिप्पणी की और विदेशी महिला से हुई सामूहिक दुष्कर्म की घटना को अत्यंत गंभीर बताया. खंडपीठ ने कहा कि किसी विदेशी नागरिक के खिलाफ किसी भी प्रकार की आपराधिक घटना से देश की पर्यटन अर्थव्यवस्था प्रभावित हो सकती है. साथ ही इसके गंभीर राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय परिणाम हो सकते हैं. किसी विदेशी महिला के खिलाफ यौन संबंधी अपराध से देश के खिलाफ प्रतिकूल प्रचार होने की संभावना है. इससे दुनिया भर में भारत की छवि खराब होगी. झालसा ने पीड़िता की सहायता के लिए कदम उठाया है और तत्काल सहायता भी पहुंचायी है. इससे पूर्व राज्य सरकार की ओर से अपर महाधिवक्ता आशुतोष आनंद उपस्थित थे.
दुमका के हंसडीहा में एक मार्च की रात हुई थी गैंग रेप की घटना
दुमका के हंसडीहा थाना क्षेत्र में उक्त गैंगरेप की घटना एक मार्च की रात हुई थी. पीड़िता अपने पति के साथ बाइक से दुमका होते हुए भागलपुर की ओर जा रही थी. हंसडीहा थाना क्षेत्र में बाजार से पहले रात में कुरुमाहाट में सुनसान जगह पर टेंट लगा कर सो गयी. इसी दौरान कुछ युवक वहां पहुंचे और महिला के साथ दुष्कर्म की घटना को अंजाम दिया. गैंगरेप करनेवाले सात लोग थे. आरोपियों ने पीड़िता व उसके पति के साथ मारपीट भी की.