रामगढ़. राजद के प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह के छोटे पुत्र जदयू के प्रदेश महासचिव अजीत कुमार सिंह उर्फ नन्हे ने जदयू के प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया है. उन्होंने करीब दो साल पहले जदयू का दामन थामा था, इस्तीफा देने के पीछे मुख्य कारण कार्यकर्ताओं को बगैर विश्वास में लिये पार्टी के शीर्ष नेतृत्व द्वारा बार-बार दल बदलने का निर्णय लिया जाना बताया गया है. अब जदयू छोड़ने के बाद अजीत किस दल में जायेंगे, इसका उन्होंने अभी कोई खुलासा नहीं किया है. लेकिन, लोगों में इस बात के कयास लगाये जा रहे हैं कि लोकसभा चुनाव के बाद वह राजद का दामन थामेंंगे. जदयू छोड़ने के पीछे अजीत ने बार-बार नीतीश को गठबंधन बदलने और कार्यकर्ताओं को नजरअंदाज करने का आरोप लगाते हुए अपना इस्तीफा प्रदेश अध्यक्ष उमेश कुशवाहा को भेज दिया है. बताते चलें कि अजीत सिंह राजद के प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह के सबसे छोटे पुत्र हैं, जो दो साल पहले उन्होंने जदयू का दामन थामा था, तब उस वक्त उन्होंने राजद पार्टी को कार्यकर्ताओं के लिए कब्रगाह बताया था. जगदानंद सिंह के बड़े बेटे सुधाकर सिंह बक्सर से राजद के टिकट पर लोकसभा चुनाव लड़ रहे हैं और सुधाकर सिंह वर्तमान में रामगढ़ से विधायक हैं. सुधाकर सिंह से छोटे भाई पुनीत सिंह गया स्नातक क्षेत्र से राजद के टिकट पर पिछला चुनाव लड़े थे और सबसे बड़े बेटे सरकारी सेवा में पटना में कार्यरत हैं. अजीत सिंह जगदानंद के सबसे छोटे बेटे हैं. सूबे की राजनीति में अजीत की तरह सुधाकर सिंह भी पहले भाजपा का दामन थाम कर बिहार की राजनीति में प्रवेश कर रामगढ़ विधानसभा क्षेत्र से बीजेपी के टिकट पर चुनाव लड़े और हार गये थे. बाद में उन्होंने राजद का दामन थामा और राजद के टिकट पर चुनाव लड़े और रामगढ़ से विधायक बने. एक बार फिर सुधाकर बक्सर लोकसभा चुनाव में राजद के टिकट पर चुनाव लड़ रहे हैं. बताते चलें बक्सर लोकसभा से सुधाकर के पिता राजद प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह 2009 के लोकसभा चुनाव में राजद सीट से चुनाव जीत कर पांच वर्षों तक 2014 तक सांसद रह चुके हैं.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है