कोलकाता.
कलकत्ता हाइकोर्ट ने राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआइए) के एसपी धनराम सिंह को हटाने की मांग वाली तृणमूल कांग्रेस की याचिका पर सुनवाई करने से इनकार कर दिया. न्यायाधीश ने स्पष्ट किया कि अदालत को केंद्रीय एजेंसी के अधिकारियों के तबादले का आदेश देने का कोई अधिकार नहीं है. गौरतलब है कि घटना की शुरुआत छह अप्रैल को हुई थी. भूपतिनगर ब्लास्ट मामले में एनआइए के अधिकारियों ने तड़के दो तृणमूल नेताओं की तलाश में छापेमारी की थी और वहां से लौटते वक्त एनआइए की गाड़ी पर कुछ लोगों ने हमला किया था. उस घटना पर जब राजनीति गरमायी, तो तृणमूल कांग्रेस ने दावा किया कि एनआइए भाजपा के आदेश पर काम कर रही है. सत्ताधारी पार्टी के एक प्रवक्ता ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर दावा किया था कि 26 मार्च को भाजपा नेता जितेंद्र तिवारी उत्तर 24 परगना के न्यूटाउन स्थित एनआइए के एसपी धनराम सिंह के फ्लैट पर गये थे और उस समय उनके पास एक सफेद लिफाफा था. हालांकि, जितेंद्र तिवारी ने भी धनराम सिंह के फ्लैट पर जाने से इनकार नहीं किया. भाजपा ने दावा किया है कि उनके आवास पर एसपी रैंक के एक अधिकारी का भी कार्यालय है. कोई भी व्यक्ति उस कार्यालय में जाकर जांच से जुड़ी कोई भी जानकारी-सबूत दे सकता है. इसके बाद तृणमूल कांग्रेस ने धनराम सिंह के तबादले की मांग करते हुए अदालत का दरवाजा खटखटाया था. गुरुवार को मामले की सुनवाई में कोर्ट ने तृणमूल कांग्रेस की अर्जी खारिज कर दी. यह भी बताया गया कि अदालत के पास केंद्र सरकार की एजेंसियों के अधिकारियों के तबादले का आदेश देने का कोई अधिकार नहीं है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है