जामुड़िया. इसीएल के कुनुस्तोड़िया एरिया अंतर्गत चलने वाले नॉर्थ सियारसोल ओसीपी में कोयले निकालने के दौरान की जाने वाले ब्लास्टिंग से ओसीपी के समीपवर्ती ग्राम कांटा गुड़िया गांव, इन्द्रभूमि, आनंद नगर एवं बीजपुर ग्राम के दक्षिण पाड़ा में बड़े-बड़े पत्थर ग्राम में गिर रहे हैं. जिसके कारण कई कच्चे-पक्के मकानों में दरारें पड़ गयी है. कई मकानों के हिस्से टूट रहे हैं. गांव की सड़कों में भी दरारें आ गयी हैं. इस ब्लास्टिंग के कारण गुस्साए स्थानीय सैकड़ों ग्रामीणों ने रविवार सुबह इसीएल के नॉर्थ सियारसोल ओसीपी को बंद कर घंटों विरोध प्रदर्शन किया. इस दौरान ग्रामीणों ने कोयला खदानों में ब्लास्टिंग तत्काल बंद करने की मांग करते हुए क्षतिपूर्ति व पुरर्वासन की मांग की. ग्रामीण कार्तिक चंद्र माजी ने कहा कि आये दिन नॉर्थ सियारसोल ओसीपी प्रबंधन द्वारा अनियमित रूप से ब्लास्टिंग की जा रही है. ब्लास्टिंग का समय दोपहर 1:30 बजे से 2:30 बजे के बीच है. लेकिन शनिवार शाम को इस नियम को ताक में रखते हुए संध्या 5:30 बजे ब्लास्टिंग की गयी. ब्लास्टिंग इतनी जोरदार थी कि कई घरों की दीवारों में दरार पड़ गयी है. एक बच्चे को भी चोट लगी. उन्होंने कहा कि पिछले दो वर्षों से उनकी मांग है कि गांव के लोगों का पुनर्वास किया जाये. लेकिन प्रबंधन का इस ओर कोई ध्यान ही नही है. वहीं जब तक नॉर्थ सियारसोल ओसीपी प्रबंधन द्वारा ग्रामीणों के पुनर्वास को लेकर कोई सार्थक कदम नहीं उठाया जाता है तब तक यह आंदोलन जारी रहेगा. दूसरी और इस बारे में पुछे जाने पर ओसीपी के मेनेजर अशोक कुमार कर्मकार ने कहा कि इस मामले को वह गंभीरतापूर्वक देख रहे हैं. जल्दी ही इसके लिए उपयुक्त व्यवस्था की जायेगी. इस विरोध प्रदर्शन के दौरान ग्रामीण धर्मदास राजभर, जगन्नाथ कर्मकार, श्यामापद बाउरी, तन्मय देवघरिया आदि उपस्थित थे.
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