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इंटर में बिना नामांकन के ही 30 मई से आठ जून तक 11 वीं की मासिक परीक्षा का कैलेंडर जारी

शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव के के पाठक के निर्देश पर बिहार विद्यालय परीक्षा समिति ने बिना एडमिशन और पढ़ाई के ही 11 वीं के मासिक मूल्यांकन परीक्षा का कलेंडर जारी कर दिया है.

बेतिया. शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव के के पाठक के निर्देश पर बिहार विद्यालय परीक्षा समिति ने बिना एडमिशन और पढ़ाई के ही 11 वीं के मासिक मूल्यांकन परीक्षा का कलेंडर जारी कर दिया है. निर्देश है कि अपने मैट्रिक पास होने वाले स्कूल में ही सभी छात्र छात्राओं के लिए 11 वीं की मासिक परीक्षा आयोजित की जाएगी. शिक्षा विभाग के नए निर्देश के बाद प्लस टू स्कूल और इंटर कॉलेजों में खलबली मच गई है. क्योंकि मैट्रिक पास विद्यार्थियों का इंटर में बिना नामांकन और बिना पढ़ाई के ही 11 वीं की उनकी मासिक परीक्षा की तारीख घोषित होने पर मानों सनसनी फ़ैल गई है. शिक्षा विभाग से जारी इस आदेश के बाद छात्र नेताओं और अभिभावकों से तीखी प्रतिक्रिया मिली है.अभाविप के जिलाध्यक्ष अभिजीत राय ने इसको लेकर आरोप लगाया कि बिहार की शिक्षा व्यवस्था एक अर्द्ध परिपक्व अधिकारी के हाथ में चली गई है. इससे बिहार के युवाओं का भविष्य अंधकार में डूबता जा रहा है. मैट्रिक और इंटर पास विद्यार्थी महीनों से सड़क पर भटक रहे हैं. प्रबुद्ध अभिभावकों ने उठाया शिक्षा विभाग की ऐसी स्थिति पर बच्चों के भविष्य को ले सवाल अभिभावक और व्यवहार न्यायालय के अधिवक्ता शिव कुमार की माने तो ऐसी स्थिति का संबंधित विद्यार्थियों पर प्रतिकूल असर पड़ेगा. अधिवक्ता श्री कुमार ने कहा कि मान लें कि किसी विद्यार्थी को इंटर में कॉमर्स या कृषि विज्ञान पढ़ना है और उसके हाई स्कूल में कॉमर्स/कृषि विज्ञान की पढ़ाई ही नहीं है, तो उक्त विद्यार्थी का हश्र क्या होगा. अभिभावक लालबाबू प्रसाद का कहना है कि यह तो नहीं अपर मुख्य सचिव के पद पर केके पाठक के काबिज होने के बाद से लगातार उनके सख्त रवैया और कुछ अजीब आदेश को लेकर शिक्षा विभाग लगातार चर्चा में है. विभाग के निर्णयों से आंदोलित और असहज हैं शिक्षक संघ और स्कूलों के प्रधानाध्यापक विगत 15 मई को गर्मी छुट्टी के बाद प्रातःकालीन पढ़ाई में छह बजे शिक्षकों को विद्यालय पहुंचने का निर्देश और डेढ़ बजे जाने का आदेश को लेकर शिक्षक नाराज और प्राथमिक शिक्षक संघ बीते 24 मई को सांकेतिक आंदोलन कर चुका है.अब बिना नामांकन और पढ़ाई के ही 11 के विद्यार्थियों की मासिक मूल्यांकन परीक्षा का कलेंडर बिहार विद्यालय परीक्षा समिति द्वारा जारी कर देने से खलबली मचने लगी है.जिला माध्यमिक शिक्षक संघ के सचिव रामेश्वर सिंह और कई विद्यालयों के प्रधानों ने इस आदेश पर आश्चर्य व्यक्त करते हुए कहा कि मैट्रिक पास करने के बाद अगर नामांकन नहीं हुआ है तो यह कैसे तय करेंगे कि हमारे यहां कितने छात्र छात्रा कला में और कितने विज्ञान तथा वाणिज्य संकाय में नामांकित होंगे.बिना नामांकन, बिना पढ़ाई कितने छात्र किस संकाय में परीक्षा देंगे, यह तय करना मुश्किल हो रहा है. कई बार यह भी देखा गया है कि केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड सीबीएसई के माध्यम से उत्तीर्ण मैट्रिक के छात्र भी इंटर बिहार विद्यालय परीक्षा समिति से करते हैं. फरवरी में मैट्रिक इंटर की परीक्षा और मार्च में रिजल्ट के करीब दो मद बाद नामांकन नहीं बीते फरवरी के प्रथम सप्ताह में इंटर की वार्षिक परीक्षा एवं दूसरे सप्ताह में मैट्रिक की वार्षिक परीक्षा आयोजित की गई थी. इसका परिणाम भी अगले माह घोषित करके रिकार्ड बनाया गया. परंतु, करीब दो माह बाद भी इंटर में नामांकन नहीं होने के कारण संबंधित विद्यार्थी भटक रहे हैं.अब शिक्षा विभाग ने यह निर्देश जारी कर दिया है कि नामांकन प्रक्रिया बाद में पूरी की जाएगी, पहले जिन छात्रों ने जिस विद्यालय से मैट्रिक की वार्षिक परीक्षा उत्तीर्ण की है, उसी प्लस टू स्कूल के 11 वीं कक्षा में बिना नामांकन के ही मासिक मूल्यांकन परीक्षा प्रारंभ कर देने का आदेश है. हद तो यह है कि बिहार विद्यालय परीक्षा समिति ने विज्ञप्ति जारी करते हुए 30 मई से आठ जून तक मासिक परीक्षा का कैलेंडर भी जारी कर दिया.

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