रांची (वरीय संवाददाता). महिला से 29.94 लाख रुपये के साइबर फ्रॉड मामले में एक आरोपी को सीआइडी की साइबर थाना पुलिस ने दिल्ली से गिरफ्तार किया है. आरोपी का नाम रवि शंकर द्विवेदी उर्फ राजू (34 वर्ष) है. वह नयी दिल्ली के छावला थाना अंतर्गत श्याम विहार, फेज वन, ई-एक्सटेंशन का रहनेवाला है. उसके पास से ठगी में इस्तेमाल किया गया मोबाइल व सिम के अलावा कॉरपोरेट इंटरनेट बैंकिंग के क्रेडेनशियल का आदान-प्रदान व साइबर ठगी से संबंधित चैट बरामद किया गया है. उसकी गिरफ्तारी में इंडियन साइबर क्राइम कॉर्डिनेशन सेंटर, आइ4सी, एमएचए व दिल्ली पुलिस ने सहयोग किया है. पूछताछ में आरोपी ने स्वीकार किया है कि एक बड़े अंतरराष्ट्रीय साइबर अपराधियों के गिरोह के लिए काम करने वाले भारत के साइबर ठगों के गिरोह का वह हिस्सा है. जो अलग-अलग बैंकों के कॉरपाेरेट इंटरनेट बैंकिंग खाता खोलकर इस प्रकार के इंवेस्टमेंट स्कैम करवाते हैं. उक्त जानकारी साइबर थाना में आयोजित प्रेस वार्ता में सीआइडी डीजी अनुराग गुप्ता ने दी. इस दौरान साइबर थाना प्रभारी डीएसपी नेहा बाला मौजूद थीं. स्क्रीन शॉर्ट भेजने व हाई रेटिंग के लिए महिला से संपर्क कर की ठगी : मामले में महिला ने नौ मार्च 2024 को साइबर थाना में प्राथमिकी दर्ज करायी थी. कहा था कि साइबर फ्रॉड ने व्हाट्सऐप के माध्यम से उनसे संपर्क किया. इसमें इंस्टाग्राम पर वीडियो लाइक कर स्क्रीन शॉर्ट भेजने का पार्ट टाइम जॉब ऑफर किया. हर टास्क के लिए महिला को कुछ पैसे देकर साइबर फ्रॉड ने पहले विश्वास में लिया. इसके बाद टेलीग्राम आइडी Alyssa के माध्यम से संपर्क कर टास्क एवं हाई रेटिंग के लिए संपर्क किया गया. उक्त टेलीग्राम प्रोफाइल के माध्यम से दिये गये टास्क को करने के लिए इन्हें विभिन्न बैंकिंग खाताओं में पैसे डालने को बोला गया. इसके बाद इन्हें एक वेबसाइट https://sqeaviuicopj. shop/pages/asset/asset पर अकाउंट बनाने के लिए कहा गया. जहां महिला द्वारा किये गये इंवेस्टमेंट का प्रोफाइल दिखाई देगा. लेकिन उस पर कभी कुछ नहीं दिखा. इस तरह से महिला से 29 लाख 94 हजार 50 रुपये की ठगी कर ली गयी. जांच के दौरान पाया गया कि इंवेस्टमेंट वेबसाइट का आइपी एड्रेस चाइना, टोक्यो, सिंगापुर आदि जगहों का पाया गया. जबकि पैसों के ट्रांजेक्शन का एनालाइसिस करने पर पाया गया कि फेक कंपनी के नाम पर दिल्ली, गुजरात, मध्यप्रदेश में रजिस्टर्ड विभिन्न बैंक खातों से करोड़ों रुपये के ट्रांजेक्शन किये गये थे. ट्रांजेक्शन के आइपी के यूजर का मूल स्थान हांगकांग व चाइना में पाया गया. इसके बाद साइबर पुलिस ने कार्रवाई करते हुए उक्त बैंक खाताओं में मौजूद 9.36 लाख रुपये फ्रीज करवाया. जबकि साईं ट्रेडिंग कंपनी के नाम पर बने इंडसंड बैंक में बनाये गये खाते से एक दिन में 2.46 लाख रुपये का फर्जी ट्रांजेक्शन हुआ. इसके खिलाफ नेशनल साइबर क्राइम रिपोर्टिंग पोर्टल के माध्यम से महाराष्ट्र, तेलंगाना, गुजरात, असम, आंध्र प्रदेश आदि की 78 शिकायतें सामने आयी है.
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