Lok Sabha Elections 2024: लोकसभा चुनाव 2024 में उत्तर प्रदेश में इंडिया गठबंधन ने एनडीए को करारी शिकस्त दी है. लोकसभा चुनाव 2019 में 80 में से 62 सीटें जीतने वाली भाजपा इस बार 35 सीटों पर ही अटकी हुई है. जबकि इंडिया गठबंधन 40 सीटों के आंकड़े को पार कर गया है.
इंडिया गठबंधन के सफलता के पीछे टिकट वितरण और प्रचार के तरीके जैसी कई वजहें सामने आ रही हैं. यूपी में इंडिया गठबंधन के अच्छे प्रदर्शन की एक वजह सपा का टिकट वितरण है, जोकि लोकसभा चुनाव 2019 से विपरीत है. इस बार सपा ने सिर्फ 5 यादवों को ही टिकट दिया था.
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इसके अलावा पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव ने 27 गैर यादव ओबीसी, 11 सवर्ण, 1 खत्री और 4 मुसलमानों को टिकट दिए थे. इसके अलावा सपा ने सुरक्षित सीटों पर 15 दलित उम्मीदवार भी उतारे थे. जबकि भाजपा ने 75 सीटों पर 34 सवर्ण, 25 ओबीसी और एक यादव को टिकट दिया था. अन्य 16 सीटें सुरक्षित सीटों पर दलित उम्मीदवार उतारे थे.
दोनों के प्रचार का यह रहा तरीका
लोकसभा चुनाव में भाजपा और इंडिया गठबंधन के प्रचार में भी काफी अंतर देखने को मिला. एक ओर जहां भाजपा बड़ी रैलियां और चुनाव अभियान चला रही थी. वहीं, सपा और कांग्रेस स्थानीय समुदायों तक पहुंच बढ़ा रहे थे. कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने रायबरेली और अमेठी में 10 दिन रहकर जमकर प्रचार किया, लेकिन इनमें बड़ी रैलियों के स्थान पर सुबह से शाम तक 20 से ज्यादा नुक्कड़ सभाएं होती थीं.
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बता दें कि सपा ने पश्चिम, मध्य और पूर्वी यूपी में सीटें जीतने में शानदार सफलता हासिल की. इसके अलावा भाजपा का गढ़ कहे जाने वाले बुंदेलखंड में जीत दर्ज करने में भी सफल रही. पश्चिमी यूपी में भी सपा ने कम से कम 8 सीटों पर बढ़त बनाई हुई है.