संवाददाता, कोलकातालोकसभा चुनाव के नतीजों के बाद से ही खराब प्रदर्शन को लेकर प्रदेश भाजपा में खलबली मची हुई है. इस बीच, सत्ताधारी दल तृणमूल कांग्रेस के एक दावे से प्रदेश भाजपा की मुश्किलें और बढ़ गयी हैं. तृणमूल कांग्रेस का दावा है कि भाजपा के कई सांसद और विधायक उसके संपर्क में हैं. वे जल्द ही तृणमूल कांग्रेस में शामिल हो सकते हैं. उल्लेखनीय है कि पश्चिम बंगाल में 42 लोकसभा सीटों के लिए हुए चुनाव में भाजपा ने 12 और तृणमूल कांग्रेस ने 29 सीटों पर जीत दर्ज की है. वहीं, 2019 के चुनाव में भाजपा के 18 और तृणमूल कांग्रेस के पास 22 सीटें थीं. वहीं, तृणमूल कांग्रेस के सूत्रों के दावे के अनुसार बंगाल से भाजपा के चार सांसद उसके संपर्क में हैं. हालांकि ये सांसद दल-बदल कानून के दायरे में आ सकते हैं और उनका सांसद पद खत्म हो सकता है. इसलिए तृणमूल कांग्रेस उन्हें अपने साथ तो ले लेगी, लेकिन कागजों पर वे लोग भाजपा के ही सांसद रहेंगे.
भाजपा के नवनिर्वाचित सांसद दिल्ली गये
नयी दिल्ली में भाजपा ने संसदीय कमेटी की बैठक बुलायी है. शुक्रवार सुबह 11 बजे यह बैठक शुरू होगी. बैठक में विजयी उम्मीदवारों को बुलाया गया है. बंगाल से भाजपा के विजयी उम्मीदवारों को भी शामिल होने का निर्देश दिया गया है. गुरुवार को सभी नेता दिल्ली के लिए रवाना हो गए. इस बैठक में विजयी उम्मीदवारों के साथ नेता प्रतिपक्ष शुभेंदु अधिकारी को भी बुलाया गया है. भाजपा सूत्रों के मुताबिक, बैठक में आगामी दिनों में पार्टी किस लक्ष्य को लेकर चलेगी, इस पर चर्चा की जायेगी. नये सांसद किस तरह से काम करेंगे, जनता के साथ कैसे अपने संपर्क को मजबूत करेंगे, इसकी रूपरेखा तय की जायेगी. जानकारी के मुताबिक चुनावी नतीजों को लेकर बैठक में बात नहीं होगी. गुरुवार सुबह ही तमलुक से विजयी पूर्व न्यायाधीश अभिजीत गांगुली नयी दिल्ली के लिए रवाना हुए. इस बारे में प्रदेश भाजपा अध्यक्ष सुकांत मजूमदार ने कहा कि सात जून को सभी मिल कर बात करेंगे. राज्यसभा व लोकसभा के नवनिर्वाचित सांसदों को बुलाया गया है.
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