दो माह के लोकसभा चुनाव से लेकर मतगणना तक शेयर बाजार में लगातार उतार-चढ़ाव जारी रहा. दो माह में लगातार सेंसेक्स में गिरावट दर्ज की गयी. भागलपुर क्षेत्र के निवेशकों का 400 करोड़ तक का नुकसान हो गया. हालांकि शेयर निवेशकों के लिए खुशखबरी है कि मतगणना का परिणाम आने के बाद बाजार में वृद्धि देखी जा रही है और सप्ताह के अंत में वृद्धि के बाद स्थिरता दिख रही है. ऐसे में निवेशकों के डूबे हुए 350 करोड़ रुपये तक वापस हो गया.
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इस सप्ताह भारतीय शेयर बाजार में उतार-चढ़ाव का दौर रहा. एग्जिट पोल के उच्च परिणामों और वास्तविक चुनाव परिणामों के बाद बाजार में आयी गिरावट ने निवेशकों को चिंतित कर दिया. चुनाव परिणामों के बाद बाजार में आयी नाकामी के कारण अनुमानित रूप से भारतीय बाजार में 4,390 अंकों की गिरावट आयी. इससे नेशनल नुकसान का अनुमान लगभग 30 लाख करोड़ तक पहुंच गया. भागलपुर के निवेशकों को भी इस गिरावट से 300 से 350 करोड़ का नुकसान हुआ. हालांकि सात जून तक बाजार में सुधार देखा गया और सेंसेक्स ने 1,720 अंकों की वृद्धि के साथ रिकॉर्ड उच्चता को छुआ. इस सुधार से निवेशकों के पोर्टफोलियो में लगभग 300 करोड़ भी बढ़ोतरी हुई. दीर्घकालिक निवेश के लिए सूचना प्रौद्योगिकी (आइटी), एफएमसीजी, हाउसिंग फाइनेंस कंपनियां, ऑटोमोबाइल कंपनियां, और इंफ्रास्ट्रक्चर जैसे क्षेत्र आशाजनक है.
उत्तम झुनझुनवाला, शेयर बाजार विश्लेषक सह निवेश सलाहकार
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भारत देश में शांतिपूर्वक इलेक्शन हुआ. अब स्थायी सरकार बनती दिख रही है. भारत की अर्थव्यवस्था में और मजबूती आयेगी. शेयर बाज़ार में और तेजी आने की संभावना है. निवेशकों के लिये अब निवेश करने का एक और सुनहरा मौका मिलेगा. इससे उनके निवेश की गयी पूंजी में और वृद्घि होने की संभावना है. आने वाले समय में पावर, इंफ्रा, एफएमसीजी, ऑटोमोबाइल्स, कैपिटल गुड्स जैसे इत्यादि सेक्टर्स में निवेश करना बेहतर होगा. 2024 में निवेशकों को जितनी बार बाजार में गिरावट आयी, उतनी बार अपने बचत पैसे को लगाने के अवसर भी मिले. आने वाले समय में शेयर बाजार में निवेश करना बेहतर कदम साबित होगा.
अभिषेक डालमिया, शेयर विशेषज्ञ सह म्यूच्यूअल फण्ड डिस्ट्रीब्यूटर
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कुछ दिनों से शेयर बाजारों में अनिश्चितता का दौर रहा. कभी यह हजारों प्वाइंट गिर गया, तो कभी हजारों प्वाइंट्स ऊपर हो गया. ऐसे में निवेशक क्या करें, कि क्या नहीं करे की स्थिति में रहे. हरेक चुनाव में यह स्थिति आती है. सरकार बनाने तक इसी तरह बाजार में अस्थिरता रहती है. सरकार बनाने के बाद बाजार में रौनक लौटेगी. शेयर बाजार फिर नयी ऊंचाई को छुयेगी. पीएसयू के जिन शेयरों में तेजी आयी थी, हो सकता है कि यह शेयर अब उतना रिटर्न नहीं दे पाएं. दरअसल अब पीएसयू के शेयर का पब्लिक में विनिवेश मुश्किल हो जायेगा. मगर रियल्टी सेक्टर और आईटी सेक्टर के शेयरों में तेजी बरकरार रहेगी. एफएमसीजी सेक्टर के शेयरों में वृद्धि देगी. मोनोपॉली क्षेत्र के शेयरों में, जैसे आईआरसीटीसी आदि में भी तेजी आ सकती है. कृषि क्षेत्र और उर्वरक क्षेत्र के शेयरों पर भी ध्यान रखना चाहिए.
सीए प्रदीप कुमार झुनझुनवाला, आर्थिक सलाहकार
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