राजमहल कोल परियोजना के प्रभावित गांव लौहांडिया बाजार के ग्रामीणों ने बिजली-पानी की मांग को लेकर सुबह 10 से शाम 5 बजे तक परियोजना के कोयला खनन कार्य को बाधित किया. ग्रामीणों ने परियोजना के खनन क्षेत्र में प्रवेश कर जोरदार आंदोलन करते हए खनन क्षेत्र में लगे हुए सभी गाड़ी को बंद कर दिया. ग्रामीणों ने बताया कि गांव में कई दिनों से बिजली नहीं रहने से ग्रामीण को काफी परेशानी हो रही है. पीने का पानी भी नसीब नहीं हो रहा है. वहीं प्रबंधन गांव के अगल-बगल की सारी जमीन में कोयला खनन का कार्य कर रही है तथा ग्रामीण हैवी ब्लास्टिंग का प्रकोप भी बर्दाश्त कर रहा है. गांव के ग्रामीणों के घर में दरार पड़ चुका है. छत का मालवा गिर रहा है. गांव में बिजली नहीं रहने से ग्रामीण को हीट वेव में रहना मुश्किल हो गया है. लेकिन प्रबंधन की मनमानी चरम सीमा पर है. नियम के अनुसार प्रभावित क्षेत्र के 10 किलोमीटर के क्षेत्र में प्रबंधन को मूलभूत सुविधा उपलब्ध करना है. जबकि इस गांव के आसपास के सभी गांव में परियोजना बिजली देती है. लेकिन इस गांव के ग्रामीणों के साथ सोतेला व्यवहार कर रही है .
बिजली उपलब्ध करा कर बोरवेल को चालू करेगी प्रबंधन : प्रोजेक्ट ऑफिसर
खनन क्षेत्र बंद की सूचना पर परियोजना के प्रोजेक्ट ऑफिसर सतीश मुरारी ग्रामीणों से वार्ता के लिए पहुंचे. उन्होंने ग्रामीणों को आश्वासन दिया कि प्रबंधन के द्वारा गांव में जितने भी बोरवेल है, उसमें प्रबंधन बिजली उपलब्ध करा कर बोरवेल को चालू करेंगी ताकि ग्रामीण को पीने का पानी का दिक्कत नहीं हो. प्रबंधन के आश्वासन के बाद ग्रामीण खनन कार्य को सुचारू रूप से चालू कर दिया. ग्रामीणों ने कहा कि अगर प्रबंधन बोरवेल को जल्द शुरू नहीं करती है तो ग्रामीण फिर से आंदोलन शुरू कर देंगे. मौके पर मुखिया अनीता मर्मू, पंचायत समिति सदस्य विवेक भगत, पूर्व जिला परिषद सदस्य राम जी साह, अरुण कुमार हेंब्रम, सुजीत साह आदि उपस्थित थे.
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