खैरा. थाना क्षेत्र के जीतझिंगोई गांव में नदी में शौच के दौरान डूबकर बुधवार को 16 वर्षीय किशोर की मौत हो गयी थी. इसके बाद परिजनों ने संवेदक के खिलाफ जमकर विरोध जताया था. घटना के बाद पूरी रात परिजनों ने पुलिस को शव पोस्टमार्टम के लिए नहीं ले जाने दिया. परिजनों का आरोप था कि संवेदक की लापरवाही के कारण मो असद अंसारी की मौत हुई है. गौरतलब है कि जीतझिंगोई गांव निवासी मो शब्दर अंसारी के 16 वर्षीय पुत्र असद अंसारी की नदी में डूबने से मौत हो गयी थी. हादसा उस वक्त सामने आया, जब वह अपने बासा पर गया हुआ था और वहां से शौच करने के बाद हाथ धोने के लिए नदी किनारे पहुंचा. वहां पैर धंस जाने से वह गहरे गड्ढे में चला गया. इस कारण डूबने से उसकी मौत हो गयी. ग्रामीणों ने बताया कि उस जगह पर बालू उठाव की अनुमति नहीं थी. इसके बावजूद संवेदक के द्वारा मनमाने रूप से बालू का उठाव किया गया तथा बड़े-बड़े गड्ढे बना दिये गये. इसमें डूब कर असद अंसारी की मौत हो गयी. इसके बाद परिजन और ग्रामीण संवेदक के खिलाफ प्राथमिक दर्ज करने की मांग पर अड़ गये और उन्होंने शव को नहीं ले जाने दिया. पूरी रात असद अंसारी का शव गांव में ही रखा रहा. गुरुवार सुबह पुलिस ने शव को अपने कब्जे में लिया तथा उसे पोस्टमार्टम के लिए भिजवा दिया. प्रभारी थानाध्यक्ष धर्मेंद्र कुमार ने बताया कि मामले में अभी तक किसी प्रकार का लिखित आवेदन नहीं दिया गया है. उन्होंने कहा कि अगर लिखित आवेदन दिया जाएगा तो मामले में प्राथमिकी दर्ज की जाएगी.
पटना में थे पिता, मिली पुत्र की मौत की खबर:
गौरतलब है कि जीतझींगोई निवासी मो शब्दर अंसारी पटना में थे जब उनको 16 वर्षीय पुत्र मो असद अंसारी की मौत की खबर मिली. ग्रामीणों ने बताया कि मो शब्दर अंसारी काम करने के लिए गुजरात जा रहे थे. इसी दौरान वे पटना पहुंचे थे, तभी पुत्र के मौत की खबर आयी. ट्रेन में ही पिता को बेटे की मौत की खबर मिली. जिसके बाद वे वापस गांव पहुंचे. घटना के बाद पूरे गांव में मातम पसर गया है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है