प्रखंड मुख्यालय के पीएचसी में एनएचएम ने सरकारी कर्मी का दर्जा व समान काम के बदले समान वेतन के मांगों को लेकर सरकार के खिलाफ शनिवार को प्रदर्शन किया. बताया जाता है कि शनिवार को प्रदर्शन के दौरान पीएचसी में संविदा पर कार्यरत एनएचएम कर्मियों ने नाराजगी जताते बताया कि बिहार सरकार स्वास्थ्य कर्मियों के मांगों को पूरा करने में कोई अभिरुचि नहीं ले रही, जबकि सर्वोच्च न्यायालय द्वारा फैसला दिया गया है कि जो लोग लगातार 10 वर्षों से कार्यरत हैं. उसे नियमित करते हुए सारी सुविधाएं नियमित कर्मचारी वाला उपलब्ध कराया जाय एवं सामान काम के बदले समान वेतन मिलने चाहिए. लेकिन बिहार सरकार द्वारा सर्वोच्च न्यायालय के फैसला को नजर अंदाज करते एनएचएम कर्मियों के साथ सौतेला व्यवहार किया जा रहा है. इसके अलावे उक्त कर्मियों ने बताया कि दो वर्षों से एनएचएम कर्मी द्वारा स्वास्थ्य विभाग के सभी कार्यों में पूरा योगदान किया जाता है,लेकिन हेल्थ केयर लागू करके एनएचएम कर्मी का मानदेय से दूर कर दिया गया,जिससे एनएचएम कर्मियों में नाराजगी है. इस दौरान पीएचसी में प्रतिनियुक्त कैटीएस राजेश कुमार ने बताया कि एनएचएम कर्मी को बिहार सरकार द्वारा गलतफहमी में रखा जाता है. वही संबंधित कर्मी द्वारा बिहार सरकार द्वारा हर स्वास्थ्य कर्मियों के फेस एटेंडेंस व्यवस्था का भी विरोध किया गया. वहीं मांगों के अनदेखी से नाराज एनएचएम कर्मियों द्वारा नारेबाजी कर बिहार सरकार के इस अड़ियल रवैया का विरोध किया. कर्मियों ने बताया कि मांगों को लेकर लगातार आंदोलन किया जायेगा. मौके पर सीएचओ रूपा कुमारी, एएनएम मीना कुमारी, वंदना भारती, पूर्णिमा कुमारी, सिंपी कुमारी, ज्योति कुमारी, नीतू कुमारी, पूजा कुमारी, डॉ. विनोद कुमार, बीसीएम मनजीत प्रसाद, बीएचएम अमर कुमार, कालाजार सुपरवाइजर राजेश कुमार आदि मौजूद थे.
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