– सांसद अजय कुमार मंडल ने दोनों अस्पतालों में निरीक्षण के बाद लिखा पत्र
मायागंज अस्पताल में 13 बिंदुओं पर सुधार की जरूरत : सांसद ने पत्र में लिखा कि मायागंज अस्पताल में 13 बिंदुओं पर सुधार जरूरी है. एक जांच दल गठित कर दाेषियाें काे सजा एवं मायागंज अस्पताल काे बेहतर करने की दिशा में कार्य किया जाये. भर्ती मरीजाें व परिजनाें ने बताया कि अधिकतर डाॅक्टर व नर्स अपनी ड्यूटी पर समर्पित भाव से काम नहीं करते. मरीजाें काे समय पर इलाज की सुविधा नहीं मिल रही, इससे उनकी हालत गंभीर हाे रही है। अस्पताल में बेड की कमी व डाॅक्टर व नर्साें के नहीं रहने से मरीजाें की सही देखभाल नहीं हाे रही. कराेड़ाें रुपए के बजट के बाद भी अस्पताल में मरीज बेड, स्ट्रेचर लिए भी परेशान दिखे. ओपीडी में भी डाॅक्टर मनमर्जी बैठते हैं, इस वजह से मरीजाें काे अपनी बारी का इंतजार घंटाें करना पड़ता है.
बाहरी दवा की खरीदारी में कमीशन का खेल : पत्र में कहा गया कि मरीज बाहर से दवाइयां खरीद कर ला रहे हैं. बाहरी दवा के पीछे की वजह यह है कि दुकानदाराें व डाॅक्टराें की मिलीभगत से कमीशन का खेल चल रहा है. सफाई की व्यवस्था भी अस्पताल में सही नहीं है. मरीजाें काे बिना सूचना दिए डिस्चार्ज कर दिया जाता है. दलाल अस्पताल में घूमकर हड्डी एवं हार्ट के मरीजाें काे घटिया क्वालिटी के चिकित्सा उपकरण बेचते हैं. इसमें कुछ डाॅक्टराें की मिलीभगत है. आयुष्मान कार्ड रहने के बाद भी मरीजाें से तीन हजार से चार हजार रुपए तक वसूली की जा रही है.
सफाई एजेंसी पर प्राथमिकी दर्ज हो : सांसद ने पत्र में कहा है कि पांच जुलाई काे मायागंज अस्पताल में कार्यरत सफाई एजेंसी हरिओम इंटरप्राइजेज ने सुपर स्पेशियलिटी अस्पताल में बिना अनुमति के सफाई कर्मियों की बहाली की. वहीं 300 अभ्यर्थियों से नाैकरी देने के नाम पर पैसे उगाही की थी. मंत्री को कहा गया कि अस्पताल प्रबंधन को निर्देश देकर एजेंसी के खिलाफ प्राथमिक दर्ज करायें.
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