विपक्ष के नेता ने मुख्य सचिव को लिखा पत्र
संवाददाता, कोलकाता
राज्य में विपक्ष के नेता शुभेंदु अधिकारी ने राज्य की तृणमूल कांग्रेस सरकार द्वारा विभिन्न विभागों में नियुक्ति प्रक्रिया को लेकर सवाल उठाये हैं. सोमवार को सोशल मीडिया ‘एक्स’ के माध्यम से श्री अधिकारी ने कहा कि राज्य सरकार पिछले कुछ समय से दो प्रमुख कारणों की वजह से स्थायी कर्मचारियों की भर्ती करने से कतरा रही है. पहला, राज्य के खजाने पर वित्तीय संकट के कारण नियुक्त किये गये लोगों को पारिश्रमिक और संबद्ध लाभों की औपचारिकताएं पूरी करने में बाधा आ रही है और दूसरा, अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति और अन्य पिछड़ा वर्ग (एनसीबीसी द्वारा अनुमोदित), आर्थिक रूप से पिछले लोगों को आरक्षण, दिव्यांगजनों सहित अन्य वर्गों के सदस्यों के पक्ष में आरक्षण को सही प्रकार से लागू नहीं करना. श्री अधिकारी ने कहा कि इसे लेकर उन्होंने मुख्य सचिव बीपी गोपालिका को एक पत्र लिख कर यह सुनिश्चित करने के लिए कहा है कि पश्चिम बंगाल सरकार द्वारा मंत्रिमंडल की मंजूरी या वित्त विभाग की मंजूरी वाले पदों पर और या किसी तीसरे पक्ष द्वारा किसी निविदा प्रक्रिया या अन्यथा के माध्यम से की जाने वाली नियुक्ति प्रक्रिया में 100 बिंदु रोस्टर का पालन किया जाना चाहिये. इसमें संविदात्मक, आकस्मिक और अंशकालिक नियुक्ति शामिल है और इनमें आरक्षण नियमों का भी पूरा पालन करना होगा.
श्री अधिकारी ने आगे कहा कि पंचायत और ग्रामीण विकास विभाग के उस विज्ञप्ति के संबंध में ध्यानाकर्षण किया है, जिसमें त्रिस्तरीय पंचायती राज व्यवस्था के अंतर्गत विभिन्न पदों के लिए 6652 रिक्तियों को भरने की बात कही गयी है. विभाग द्वारा जारी अधिसूचना में जिला स्तरीय चयन समिति को डायरेक्ट रिक्रूटमेंट के माध्यम से रिक्तियों को भरने के लिए कदम उठाने का निर्देश दिया गया है, जो 100 प्वाइंट रोस्टर के अनुसार सीटों के सीमांकन का सीधा उल्लंघन है. उन्होंने राज्य सरकार से 100 प्वाइंट रोस्टर के अनुसार नियुक्ति प्रक्रिया क्रियान्वित करने की मांग की है.
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