पूर्व विधायक सह भाजपा नेता सत्येंद्रनाथ तिवारी ने शहर के मां गढ़देवी मंदिर के पूर्व का तोरण द्वार का नाम बदलकर अपने मां-पिताजी के नाम पर तोरण द्वार लगाये जाने का विरोध किया है. श्री तिवारी ने मंगलवार को कहा कि मां गढ़देवी मंदिर झारखंड ही नहीं, अन्य राज्यों में भी विख्यात और प्रसिद्ध मंदिर है. यह गढ़वा वासियों के आस्था का प्रमुख केंद्र है. लेकिन मंत्री मिथिलेश ठाकुर ने गढ़देवी मंदिर के तोरण द्वार पर अपने माता-पिता का नाम इस तरह लिखा है, जैसे उनके माता-पिता ने ही मां गढ़देवी मंदिर की स्थापना की है. मंत्रीजी ने उस गेट पर तोरण द्वार लिखना भी मुनासिब नहीं समझा. पूर्व विधायक ने कहा कि मां गढ़देवी मंदिर का न्यास बना हुआ है. इस न्यास से बिना सहमति लिये पूर्व का खूबसूरत तोरण द्वार तोड़ दिया गया. वहीं यहां अपने माता-पिता के नाम से दूसरा तोरण द्वार लगवा दिया. इससे मां गढ़देवी में आस्था रखनेवाले लोगों में काफी नाराजगी है.
पूर्व विधायक ने कहा कि उन्होंने पहले भी कई अवसरों पर कहा है कि ये बाहरी लोग हैं. ये लोग अब यहां के देवी-देवताओं को भी हड़पने का असफल प्रयास कर रहे हैं. जिसे गढ़वावासी कभी बर्दाश्त नहीं करेंगे. श्री तिवारी ने कहा कि वे तो अभी भी मंत्रीजी को सलाह देना चाहते हैं कि वे गढ़देवी मंदिर के तोरण द्वार से अपने माता-पिता का नाम अपने हाथों जाकर मिटाएं. इससे उनकी शानो-शौकत पर असर नहीं पड़ेगा.
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