समस्तीपुर : शिक्षा विभाग की ओर से सरकारी स्कूलों में गुणवत्तापूर्ण शिक्षा देने और विद्यार्थियों की उपस्थिति बढ़ाने के लिए हरसंभव कोशिश की जा रही है. इसी कड़ी में शिक्षा विभाग ने हर महीने प्रत्येक प्रखंड से उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले किसी एक शिक्षक और एक प्रतिभाशाली छात्र या छात्रा को सम्मानित करने का फैसला लिया है. शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव ने सभी जिला शिक्षा पदाधिकारी को एक पत्र भेजकर स्कूलों में शिक्षकों के दायित्वों और भूमिका को लेकर निर्देश जारी किया. उन्होंने जहां शिक्षकों को उनके कर्तव्यों को बताया है, तो वहीं छात्रों की संख्या बढ़ाने को लेकर भी आवश्यक पहल करने की सलाह दी है. उन्होंने पत्र में कहा कि स्कूलों में शिक्षकों की महत्वपूर्ण भूमिका है, जिसमें शिक्षक ही बच्चों के समग्र विकास की सकारात्मक दिशा प्रदान करता है और छात्रों की शैक्षणिक उपलब्धि के साथ-साथ उन्हें सामाजिक एवं भावनात्मक व्यवहार सिखाकर श्रेष्ठ नागरिक बनाता है. यह आवश्यक है शिक्षक अपने स्कूल और छात्रों के हित में अपने कर्तव्यों का निर्वहन करें. पत्र में शिक्षकों की मार्गदर्शिका के जरिए एस. सिद्धार्थ ने शिक्षकों की भूमिका और दायित्वों को छात्र स्वरूप, विद्यालय प्रबंधन, कक्षा प्रबंधन, छात्र प्रबंधन और अभिभावक प्रबंधन की बात कही है. उन्होंने शिक्षकों को छात्रों के बीच अनुशासन व्यवस्थित रखने की सलाह दी. शिक्षकों को यह भी निर्देश दिया गया है कि कोई छात्र अगर तीन दिन से ज्यादा अनुपस्थित रहता है, तो उसके अभिभावक से दूरभाष के माध्यम से या छात्र के घर जाकर अभिभावक से बात की जाये. स्कूलों में बच्चों की उपस्थिति बढ़ाने के लिए बच्चों को विद्यालय नहीं भेजने के पक्ष वाले अभिभावकों को समझाने का प्रयास करें कि उनके बच्चों के जीवन में विद्यालयी शिक्षा सर्वोच्च प्राथमिकता है. निर्देशों की समीक्षा के बाद प्रत्येक प्रखंड से प्रतिमाह सर्वोत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले किसी एक शिक्षक, एक प्रतिभाशाली छात्र या छात्रा का चयन कर अपर मुख्य सचिव या प्रधान सचिव, शिक्षा विभाग द्वारा सम्मानित किया जाएगा. सरकारी स्कूलों में अनुशासन, सफाई, नियमित उपस्थिति सहित अन्य कार्यों के लिए शिक्षा विभाग छात्र और शिक्षक को सम्मानित करेगी. शिक्षक और छात्रों के चयन के लिए एक कमेटी भी पारदर्शिता के लिए गठित की जाएगी. जो प्रत्येक स्कूलों में छात्र और शिक्षकों की मॉनिटरिंग करके उनका चयन करेंगी. चयनित शिक्षक और छात्रों का नाम जिला शिक्षा विभाग और मुख्यालय को भेजा जायेगा. जहां से अंतिम निर्णय होगा. छात्र और शिक्षक के सम्मान देने की योजना पर काम किया जाए रहा है. इसके तहत प्रत्येक प्रखंड में एक छात्र और एक शिक्षक का चुनाव किया जायेगा. इसके लिए 20 से अधिक बिंदुओं पर जांच होगी. इसमें शिक्षकों के सम्मान के लिए समय पर खुद स्कूल आना, छात्रों को पढ़ाई के तरीके, रिजल्ट, स्कूल में अनुशासन, छात्रों का नियमित स्कूल आना, मिड डे मिल सहित अन्य मानक निर्धारित किए गए हैं, जबकि छात्रों का ड्रेस, स्कूल में नियमित हाजिरी, रिजल्ट, काॅपी-किताब और बैग सहित तरीके से रखना, स्वच्छ रहना, बोलचाल का तरीका सहित अन्य मानक निर्धारित किये गये हैं.
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