औरंगाबाद शहर. औरंगाबाद व्यवहार न्यायालय के एडीजे पांच उमेश प्रसाद ने देव थाना कांड संख्या -42/15, जीआर- 1202/15 में सजा की बिंदु पर सुनवाई करते हुए एक मात्र अभियुक्त देव टोला सिमरी निवासी योगेंद्र सिंह को भादंवि की धारा 302/34 में आजीवन कारावास की सजा सुनाई है. एपीपी परशुराम सिंह ने बताया कि अभियुक्त योगेंद्र सिंह को 22 अगस्त को हत्या के इस मामले में दोषी ठहराया गया था. गुरुवार को दोनों पक्षों को सुनने के पश्चात सजा सुनायी गयी है. अधिवक्ता सतीश कुमार स्नेही ने बताया कि देव टोला सिमरी निवासी प्राथमिकी सूचक सुशीला कुंवर ने प्राथमिकी दर्ज करायी थी. प्राथमिकी में कहा था कि अभियुक्त के घर कुछ साल पहले एक घटना हुई थी और अंधविश्वास में उनलोगों पर डायन का आरोप लगाता था. अभियुक्त ने एक जुलाई 2015 को अंधविश्वास से ग्रसित होकर उसके घर पर हमला कर दिया जिसमें बुजुर्ग ससुर वृजा सिंह की हत्या हो गयी. इस वाद में अभियोजन पक्ष अपना पक्ष रखने में सफल हुआ. घटना के समर्थन में गवाही हुई और अभियुक्त को आजीवन कारावास की सजा सुनाई गयी.
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