– राज्य सर्वेक्षण पदाधिकारी, आइडीएसपी ने जारी की एडवाइजरी संवाददाता, पटना राज्य में मंकी पॉक्स को लेकर एडवाइजरी जारी की गयी है. इसमें आम लोगों से कहा गया है कि वे मंकी पॉक्स के संक्रमित व्यक्ति या जानवर के संपर्क में आने से बचें. प्रभावित इलाकों में जाने से पहले लोगों को दस्ताना, मास्क आदि का उपयोग करना चाहिए. बीमार लोगों की देखभाल या जानवरों को संभालने के बाद नियमित हाथ धोना चाहिए. बाहर से लायी गयी खाद्य सामग्री को अच्छी तरह पकाना और किसी भी संदिग्ध संक्रमित को तुरंत चिकित्सीय सलाह लेनी चाहिए. इस संबंध में राज्य सर्वेक्षण पदाधिकारी, आइडीएसपी, डॉ रणजीत कुमार ने पटना और गया के सिविल सर्जन के साथ आइडीएच, एनएमसीएच सहित अनुग्रह नारायण मगध मेडिकल कॉलेज के अधीक्षक को पत्र जारी किया है. पत्र में मंकी पॉक्स के प्रसार और इससे बचाव की जानकारी दी गयी है. इसमें बताया गया है कि मंकी पॉक्स के मुख्य लक्षण शरीर पर निशान आना, बुखार और लसिका तंत्रिकाओं में सूजन होता है. यदि ऐसी परेशानी हो तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए. प्रसार रोकने का इंतजाम: विदेशी यात्रियों की पिछले 21 दिनों की ट्रेवल हिस्ट्री सेल्फ डिक्लरिएशन फॉर्म में दर्ज की जाये. पटना और गया एयरपोर्ट पर हेल्प डेस्क की बनाने की सलाह दी गयी है. साथ ही पटना में गाय घाट से आने वाले विदेशी यात्रियों की अंतर्देशीय नेविगेशन प्राधिकरण द्वारा निगरानी सुनिश्चित की जाये. आइडीएच पटना, एनएमसीएच पटना और एएनएमएमसीएच गया में आइसोलेशन वार्ड बनाने और उसमें पांच बेड संदिग्ध और पांच बेड कनफर्म्ड मरीज के लिए चिन्हित करने की सलाह दी गयी है. एडवाइजरी में उक्त अस्पतालों में त्वचा एवं यौन रोग के विभागाध्यक्ष को मंकी पॉक्स के निरीक्षण के लिए नोडल अधिकारी नमित करने की सलाह दी गयी है. रेफरल केस के लिए एंबुलेंस सुविधा मिल सकेगी. संदिग्ध मरीजों का सैंपल राज्य आइडीएसपी सेल को सूचित करने के बाद एम्स नयी दिल्ली और आइसीएमआर कोलकाता भेजा जायेगा.
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