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जीएसटी रजिस्ट्रेशन में बायोमेट्रिक अनिवार्य

फर्जीवाड़ा करने के उद्देश्य से जीएसटी रजिस्ट्रेशन कराना अब मुश्किल होगा, क्योंकि अब जीएसटी रजिस्ट्रेशन कराने के लिए दस्तावेज के साथ आवेदकों को बायोमेट्रिक ऑथेंटिकेशन (सत्यापन) किया जायेगा.बायोमेट्रिक सिस्टम से जीएसटी रजिस्ट्रेशन की कवायद वाणिज्य कर सीवान अंचल कार्यालय में जल्द ही शुरू होगी.

सीवान. फर्जीवाड़ा करने के उद्देश्य से जीएसटी रजिस्ट्रेशन कराना अब मुश्किल होगा, क्योंकि अब जीएसटी रजिस्ट्रेशन कराने के लिए दस्तावेज के साथ आवेदकों को बायोमेट्रिक ऑथेंटिकेशन (सत्यापन) किया जायेगा.बायोमेट्रिक सिस्टम से जीएसटी रजिस्ट्रेशन की कवायद वाणिज्य कर सीवान अंचल कार्यालय में जल्द ही शुरू होगी. फर्जीवाड़ा रोकने के लिए सरकार ने जीएसटी रजिस्ट्रेशन के लिए बायोमेट्रिक सिस्टम अनिवार्य की है. बताया जाता है कि सीवान की राज्य कर संयुक्त आयुक्त के कार्यालय में जीएसटी सुविधा केंद्र स्थापित कर दिया गया है. जहां 11 सितंबर 2024 से जीएसटी आवेदकों की आधार व पैन से सत्यापन के बाद अंगूठा व आंख की पुतली की बायोमेट्रिक निशान ली जायेगी. इसके बाद ही जीएसटी नंबर जारी किया जायेगा. केंद्र व राज्य सरकार की जीएसटी आवेदनों की राज्य कर संयुक्त आयुक्त कार्यालय सीवान में ही सत्यापित की जायेगी.बताया कि नया जीएसटी निबंधन लेने वालों को आधार कार्ड बनाने की तर्ज पर फिंगर, आंखों की पुतली आदि बायोमेट्रिक सिस्टम से ली जायेगी. यानी अब ऑनलाइन जीएसटी नंबर नहीं मिलेगा. रजिस्ट्रेशन के लिए कियोस्क लगाये जायेंगे वर्तमान में जीएसटी रजिस्ट्रेशन दस्तावेज के आधार पर ऑनलाइन किया जाता है. देश में जीएसटी लागू हुई तो ठेले, खोमचा, रिक्शा वालों समेत कई फुटपाथी के नाम पर जीएसटी ऑनलाइन निबंधन किया गया. नियम यह थी कि कोई भी आवेदन विभाग की पोर्टल पर आए तो अधिकारी उसे रोक नहीं पाते थे. यह स्वत: प्रक्रिया के तहत तीन दिनों के अंदर निबंधन के लिए पास हो जाता था. अधिकारियों के अनुसार, देश स्तर पर इसका ट्रायल किया गया है. बायोमेट्रिक सिस्टम से जीएसटी रजिस्ट्रेशन के लिए कियोस्क लगाए जायेंगे.इस सुविधा की शुरुआत जल्द की जायेगी. फिंगर व आंख की पुतली की भी बॉयोमेट्रिक सिस्टम से सत्यापन किया जायेगा जीएसटी के लिए अप्लाई करने वालों को आधार कार्ड बनाते समय जैसी प्रक्रिया से गुजरना होगा. विभाग की ओर से बनाए गए सेंटर पर आवेदक को जाना होगा. सेंटर में जाने के बाद आवेदन की जांच होगी. यहां आंखों की पुतली व दोनों हाथों की फिंगर का मिलान होगा. अधिकारी आवेदक के बताए पते की जांच करेंगे. सभी दस्तावेजों की जांच के बाद सही पाए जाने पर नया निबंधन किया जायेगा.नया नियम लागू होने के बाद अब फर्जी जीएसटी निबंधन नहीं हो सकेगी. दस्तावेजों की जांच, प्रतिष्ठान वाले स्थल और संबंधित आवेदक की फोटो के बाद अधिकारी लाइसेंस की प्रक्रिया को आगे बढ़ाएंगे. फिंगर व आंख की पुतली की भी बॉयोमेट्रिक सिस्टम से सत्यापन किया जायेगा. इसमें गड़बड़ी की गुंजाइश नहीं रहेगी.

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