मुजफ्फरपुर.
कृषि यंत्रों पर सब्सिडी पाने के लिए किसानों को ऑनलाइन आवेदन करना होगा. जिले के विभिन्न प्रखंडों से कृषि यांत्रिकरण के तहत अलग-अलग कृषि यंत्रों के लिए किसान आवेदन कर रहे हैं. किसानों तक इसका लाभ पहुंचाने के लिए ज्यादा प्रचार-प्रसार करने पर जोर दिया जा रहा है, ताकि लक्ष्य के अनुरूप यंत्र खरीद के लिए आवेदन ऑनलाइन हो सके. बिहार कृषि यंत्र सब्सिडी योजना के तहत किसानों के लिए 2024 में 119 करोड़ रुपये के अनुदान की स्वीकृति दी गयी है. इस योजना के तहत बागवानी, सिंचाई, जुताई, बुआई, निराई और कटाई के लिए उपयोग किये जाने वाले उपकरणों सहित कुल 108 प्रकार के कृषि उपकरण इस सब्सिडी योजना में शामिल होंगे. पिछले दिनों मुजफ्फरपुर के दौरे पर आये बिहार के पीपीएम निदेशक अभांशु सी जैन ने किसानों को सुगमतापूर्वक आधुनिक कृषि यंत्र उपलब्ध कराने के निर्देश दिये. साथ ही रबी मौसम में जीरो टीलेज मशीन से बुआई कराने हेतु किसान को प्रोत्साहित करने को कहा.इन मशीनों पर मिलेगी सब्सिडी
कृषि विभाग से मिली जानकारी के अनुसार, विद्युत चालित तीन एचपी का आटा मिल, मिनी दाल, ऑयल मिल, मिनी राइस मिल ट्रैक्टर चालित, राइस मिल कम-पल्वेराइजर, पावर टीलर, पावर वीडर, मेटल स्टोरेज बिन, हैड क्रॅक्ड इंप्रूव्ड चक्की मशीन, हैंड टूल ओकरा हार्वेस्टिंग यंत्र, सब- स्वायलर, रीजर, ट्रेंचर, रेज्ड बेड प्लांटर, गटोर मशीन जैसे यंत्रों के लिए आवेदन करना है. इसके अलावा कृषक फसल अवशेष प्रबंधन से संबंधित यंत्र, सुपर सीडर, हैपी सीडर, स्ट्रा रीपर, रोटरी स्लैशर, पैडी स्ट्रा चापर, स्वावयर बेलर, स्ट्रा बेलर, एसएमएस, रीपर-कम-बाइंडर सहित अन्य यंत्रो पर 75 से 80 फीसदी तक अनुदान देने की योजना है. अत्यंत पिछड़ा वर्ग, अनुसूचित जाति, अनुसूचित जन जाति वर्ग से किसानों के कम आवेदन होने के कारण किसानों को विभाग जागरूक भी कर रहा है, जबकि इन वर्गों में अनुदान की राशि ज्यादा है. लघु एवं सीमान्त किसानों को 80 प्रतिशत अनुदान पर मैनुअल किट में खुरपी, हंसिया, कुदाल, मेज शेलर एवं वीडर देने का प्रावधान है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है