Jamshedpurnews : जमशेदपुर के बिष्टुपुर स्थित गोपाल मैदान में जिला प्रशासन द्वारा आयोजित आर्ट-81 फेस्टिवल एक अनूठी और प्रेरणादायक पहल रही, जिसका मुख्य उद्देश्य मतदाताओं को आगामी चुनाव के प्रति जागरूक करना था. इस महोत्सव की विशेषता यह थी कि इसे रंगारंग सांस्कृतिक और रचनात्मक गतिविधियों के साथ जोड़कर लोगों को मतदान के प्रति आकर्षित किया गया. गोपाल मैदान में जुटी भीड़ में अधिकांश छात्र-छात्राएं और शहर के सामाजिक संगठनों के सदस्य थे, जो उत्साहपूर्वक इस अभियान में शामिल हुए. जिला उपायुक्त अनन्य मित्तल और एसएसपी किशोर कौशल द्वारा कार्यक्रम का उद्घाटन हुआ. अपने संबोधन में उपायुक्त ने मतदान के महत्व पर जोर देते हुए कहा कि 13 नवंबर को होने वाले मतदान में हर नागरिक को अपने मताधिकार का प्रयोग अवश्य करना चाहिए, क्योंकि यह उनके कर्तव्यों का हिस्सा है. उन्होंने आगे यह भी कहा कि मतदान न केवल एक नागरिक अधिकार है, बल्कि यह एक सामूहिक जिम्मेदारी भी है, जिसे प्राथमिकता दी जानी चाहिए.
लोकतंत्र को मजबूत करने का दायित्व हरेक नागरिक का: किशोर कौशल
कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथि एसएसपी किशोर कौशल ने भी इस अवसर पर अपनी बात रखते हुए कहा कि मतदान लोकतंत्र की बुनियाद है, और इसे मजबूत करने का दायित्व प्रत्येक नागरिक का है. उन्होंने विशेष रूप से युवाओं से आग्रह किया कि वे स्वयं मतदान करें और अपने परिजनों को भी इस दिशा में प्रेरित करें. आर्ट-81 फेस्टिवल का उद्देश्य केवल सांस्कृतिक आयोजन तक सीमित नहीं था, बल्कि इसके जरिए एक सामाजिक संदेश फैलाया गया कि अधिक से अधिक लोग मतदान करें और अपने मताधिकार का प्रयोग कर लोकतंत्र को सशक्त बनाएं.
कला, संस्कृति और रचनात्मकता का संगम
आर्ट-81 फेस्टिवल में मतदाताओं को जागरूक करने के साथ-साथ कला और संस्कृति को भी बढ़ावा देने पर विशेष ध्यान दिया गया. इस महोत्सव में विभिन्न प्रकार की रचनात्मक गतिविधियों का आयोजन किया गया, जिसमें पिक्चर पेंटिंग, फेस पेंटिंग, रंगोली, योग, डिबेट और नृत्य जैसे कार्यक्रम प्रमुख थे. ये सभी गतिविधियां केवल मनोरंजन का साधन नहीं थीं, बल्कि उनके माध्यम से यह संदेश दिया जा रहा था कि कला और संस्कृति समाज को जागरूक करने का एक महत्वपूर्ण माध्यम बन सकती हैं. इन कार्यक्रमों में शहर के विभिन्न कॉलेजों के छात्र-छात्राओं ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया, जिससे उत्सव की रंगत और भी बढ़ गई. इन रचनात्मक गतिविधियों के जरिए युवा वर्ग को मतदान के प्रति प्रेरित करने का प्रयास किया गया.
दिखी सांस्कृतिक धराेहर व लोक कला की झलक
कार्यक्रम के दौरान झारखंड की कला और संस्कृति पर आधारित एक प्रदर्शनी भी लगाई गई, जिसमें राज्य की समृद्ध सांस्कृतिक धरोहर और लोक कला की झलक प्रस्तुत की गई. इस प्रदर्शनी ने न केवल कला प्रेमियों को आकर्षित किया, बल्कि आम जनता को भी झारखंड की कला और सांस्कृतिक विविधता से परिचित कराया. इस तरह, आर्ट-81 फेस्टिवल ने एक बहुआयामी आयोजन के रूप में अपनी पहचान बनाई, जहां कला, संस्कृति और नागरिक कर्तव्यों का संगम देखने को मिला.
सांस्कृतिक कार्यक्रमों के साथ मतदान की अपील
आर्ट-81 फेस्टिवल के अंतर्गत विभिन्न प्रतियोगिताओं का भी आयोजन किया गया, जिसमें सफल प्रतिभागियों को पुरस्कृत कर सम्मानित किया गया. यह न केवल युवाओं को प्रेरित करने का एक माध्यम था, बल्कि इसके जरिए उन्हें यह संदेश भी दिया गया कि जैसे इन प्रतियोगिताओं में सफलता के लिए उनके प्रयास आवश्यक हैं, वैसे ही लोकतंत्र की सफलता के लिए उनका मतदान करना उतना ही महत्वपूर्ण है. सांस्कृतिक कार्यक्रमों के बीच-बीच में मतदान की अपील को बार-बार प्रमुखता से रखा गया. यह सुनिश्चित करने का प्रयास किया गया कि लोग न केवल कार्यक्रम का आनंद लें, बल्कि मतदान की गंभीरता और महत्व को भी समझें. मंच से बार-बार यह संदेश दिया गया कि 13 नवंबर को मतदान का दिन है और इस दिन सभी नागरिकों को अपने मताधिकार का प्रयोग अवश्य करना चाहिए. साथ ही यह भी कहा गया कि मतदान के बाद ही अपनी दिनचर्या की अन्य गतिविधियों को प्रारंभ करें.