Bihar News: पटना. दरभंगा मेट्रो योजना का सपना साकार हो रहा है. पहले फेज में दरभंगा मेट्रो का रूट तय कर दिया गया है. दरभंगा मेट्रो दरभंगा एयरपोर्ट, एम्स, तारामंडल, आइटी पार्क, रेलवे स्टेशन और डीएमसीएच को आपस में जोड़ेगी. नगर निगम कार्यालय में डीएम राजीव रौशन, नगर आयुक्त, महापौर एवं नगर पार्षदों के साथ मेट्रो के लिए चयनित राइट कंपनी के अधिकारियों ने नये रूट को लेकर गहन मंथन किया. बैठक में स्थानीय सासंद डॉ. गोपाल जी ठाकुर भी मौजूद थे. बैठक में उपस्थित नगर निगम के सभी जनप्रतिनिधियों का आह्वान करते हुए कहा कि वे आपस में समन्वय बनाकर इसके निर्माण में सहयोग करें. अब ये प्रस्ताव नगर विकास विभाग के पास स्वीकृति के लिए भेजा जायेगा.
जनप्रतिनिधियों ने दिया संशोधन प्रस्ताव
दरभंगा जिले में मेट्रो रेल चलाये जाने की घोषणा के बाद से ही लोगों में काफी खुशी है. अब मेट्रो के परिचालन के रूट भी निर्धारित कर दिया गया है. मेट्रो रेल रूट को लेकर दरभंगा नगर निगम में विशेष बैठक हुई. मेयर, डिप्टी मेयर, सांसद और विधायकों की मौजूदगी में मेट्रो परिचालन के लिए रूट को निर्धारित कर दिया गया है. मेट्रो के अधिकारी सबसे पहले मॉनिटर पर डिस्प्ले कर अपनी तरफ से बनाये गए संभावित रूट को दिखाया. फिर उसके पीछे का उचित कारण भी बताया. इसके बाद बैठक में शामिल जनप्रतिनिधियों का मंतव्य भी मांगा गया. जन प्रतिनिधियों ने अपनी तरफ से कुछ संशोधन रखे, उसे ध्यान में रखकर मेट्रो रेल रूट की रूपरेखा बनाने पर बल दिया गया.
कॉरिडोर की लंबाई बढ़ाने की मांग
पहला कॉरिडोर एयरपोर्ट से दरभंगा जंक्शन होकर डीएमसीएच तक जाएगा, जबकि दूसरा कारिडोर भवानीपुर सकरी से गर्वनमेंट पालीटेक्निक कालेज तक बनाया जाएगा. सर्वे रिपोर्ट पर नगर विधायक संजय सरावगी ने आपत्ति जताई. उन्होंने एयरपोर्ट से शिवधारा, चक्का, शोभन एम्स होते हुए लहेरियासराय समाहरणालय से डीएमसीएच तक की लाइन का प्रोजेक्ट बनाने की जरूरत बल दिया. डीएम राजीव रौशन ने मेट्रो कारिडोर के रूट में परिवर्तन की आवश्यकता बताई.
भूमिगत मेट्रो का प्रस्ताव
अधिकारियों का कहना था कि सर्वे कर फर्स्ट कॉरिडोर लहेरियासराय स्टेशन से बेंता चौक वीआईपी रोड, दरभंगा जंक्शन से दरभंगा एयरपोर्ट तक रूट निर्धारित किया है, जबकि सेकेंड कारिडोर भवानीपुर सकरी से दरभंगा एम्स तक बनाई जाएगी. वहीं अन्य दो मेट्रो कारिडोर का सर्वे अभी नहीं हुआ है. दरभंगा मेट्रो के लिए भूमिगत रेल एलिवेटेड के साथ ओवरब्रिज का भी निर्माण होगा. जहां पर्याप्त जगह होगी वहां ओवरब्रिज मेट्रो स्टेशन बनेगी, जबकि संकीर्ण एरिया में भूमिगत स्टेशन बनेगा. पहला रूट करीब 9 किलोमीटर का होगा, जिसमें 10 स्टेशन होंगे, जबकि दूसरा रूट 10 किलोमीटर का होगा और उसमें भी 10 स्टेशन होंगे.
रिंग रोड जैसा नहीं होगा मेट्रो का रूट
बैठक के दौरान ज्यादातर लोग पहले चरण में मेट्रो रेल रुट को एक रिंग रोड के तर्ज पर तैयार करने की बात कही. इसके बाद दूसरे और तीसरे फेज में इसे व्यापक विस्तार करने पर बल दिया. लेकिन, सभी की सहमति इस बात पर ज्यादा थी कि दरभंगा हवाई अड्डा, बस स्टैंड, तारामंडल, डीएमसीएच, आइटी पार्क ज़िला मुख्यालय के अलावा रेलवे स्टेशन होते एम्स तक रूट निर्धारित किया जाए. हालांकि, इसपर अभी अंतिम मुहर नहीं लग पाई और नगर विकास विभाग की स्वीकृति के बाद मेट्रो रेल रूट पर फाइनल मुहर लगने की बात जरूर सामने आई.
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जल्द शुरू होगा डीपीआर बनाने का काम
बैठक के दौरान संभावित रूट पर एक मत बनाने की कोशिश की गई, जिससे दरभंगा के लोगों को ज्यादा से ज्यादा इसका फायदा मिले. बैठक में शामिल मेट्रो परियोजना से जुड़े अधिकारियों ने जनप्रतिनिधियों की राय को बारीकी से सुना. सभी के साथ मिलकर एक बार फिर से संभावित मेट्रो रेल रूट को देखने के बाद मैपिंग कर बनाने का निर्णय लिया गया. इसमें उन संशोधनों को शामिल किया जायेगा. इसके बाद पूरे योजना का डीपीआर तैयार कर जल्द काम को भी शुरू कर दिया जाएगा.