Chhath Puja 2024: छठ महापर्व की शुरुआत इस साल 5 नवंबर से हो रही है. चार दिनों तक चलने वाले इस त्योहार के पहले दिन को नहाए खाए के नाम से जाना जाता है, इस दिन भात, चने की दाल और लौकी की सब्जी खाने का प्रचलन है. नहाए खाए के दिन यह भोजन बिना लहसुन, प्याज का इस्तेमाल किये बनाया जाता है, जो सात्विक भोजन होता है. इस दिन व्रती इस भोजन को प्रसाद के रूप में ग्रहण करते हैं और छठ के व्रत की शुरुआत करते हैं. इस लेख में आपको यह बताने का प्रयास किया जा रहा है कि नहाए खाए के दिन व्रती को किन बातों का विशेष रूप से ध्यान देना चाहिए और क्या गलतियां नहीं करनी चाहिए.
साफ-सफाई का रखें ध्यान
छठ के त्योहार में शुद्धता और पवित्रता का विशेष महत्व है और इस महापर्व की शुरुआत नहाए खाए के दिन से ही हो जाती है, इसलिए यह जरूरी है कि नहाए खाए के दिन से पहले, जिस जगह पर पूजा होने वाली है और जहां पर प्रसाद तैयार होने वाला है विशेष रूप से, उस स्थान की अच्छी तरह से सफाई कर ली जाए.
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इन चीजों को रखें दूर
नहाए खाए के दिन भात, चने की दाल और लौकी की सब्जी का प्रसाद बनाया जाता है, इन चीजों को बनाते हुए इस बात पर विशेष ध्यान दिया जाता है कि इस प्रसाद में किसी भी प्रकार की तामसिक चीजें जैसे लहसुन, प्याज और मांसाहारी चीजों का थोड़ा भी अंश ना पड़े.
सेंधा नमक का करें इस्तेमाल
नहाए खाए के दिन प्रसाद बनाने में साधारण नमक की जगह सेंधा नमक का इस्तेमाल करना चाहिए और सफाई का ध्यान रखते हुए बिना हाथों को अच्छी तरह से धोए प्रसाद को नहीं छूना चाहिए.
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