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सीतामढ़ी के दो बदमाश व भोजपुर के दो नक्सलियों पर पांच लाख का इनाम घोषित

बिहार सरकार के गृह विभाग ने जिले के दो हिस्ट्रीशीटर बदमाश सरोज राय और राकेश राय एवं भोजपुर जिले दो नक्सली विजय यादव उर्फ सुनील सिंह व रौशन रविदास पर ईनाम घोषित किया है.

सीतामढ़ी. बिहार सरकार के गृह विभाग ने जिले के दो हिस्ट्रीशीटर बदमाश सरोज राय और राकेश राय एवं भोजपुर जिले दो नक्सली विजय यादव उर्फ सुनील सिंह व रौशन रविदास पर ईनाम घोषित किया है. हाल ही में जिले के महिंदवारा थाना अंतर्गत बतरौली गांव निवासी बालेश्वर राय के पुत्र मोस्ट वांटेड सरोज राय पर दो लाख एवं उसके चचेरे भाई बतरौली गांव के हीं जटाशंकर राय के पुत्र राकेश राय पर एक लाख रुपये का ईनाम घोषित किया गया है. सरोज राय पर हत्या, जानलेवा हमला व रंगदारी समेत 32 संगीन मामले दर्ज हैं. वहीं राकेश राय पर 10 संगीन मामले दर्ज हैं. सरोज ने हाल में रून्नीसैदपुर विधानसभा से जदयू विधायक पंकज कुमार मिश्रा को रंगदारी को लेकर हत्या की धमकी देकर सनसनी फैला दी थी. धमकी के बाद श्री मिश्रा की सुरक्षा बढ़ाते हुए सरोज की गिरफ्तारी के लिए एसटीएफ को जवाबदेही सौंपी गयी है, जो सरोज की गिरफ्तारी के लिए हर संभव प्रयास कर रही है. वहीं स्थानीय स्तर पर एसपी मनोज कुमार तिवारी ने भी सरोज की गिरफ्तारी के लिए विशेष पुलिस टीम का गठन किया है. उधर, भोजपुर जिले के चौरी थाना अंतर्गत बाबुबांध गांव निवासी सियाराम सिंह के नक्सली पुत्र विजय यादव उर्फ सुनील सिंह पर एक लाख का ईनाम घोषित किया गया है. विजय पर तीन मामले दर्ज है. भोजपुर जिले ईमादपुर थाना अंतर्गत मोआप (कला) गांव निवासी रामविलास दास के पुत्र रौशन रविदास पर भी एक लाख का ईनाम घोषित किया गया है. रविदास पर भी तीन मामले दर्ज है.

–घोषित पुरस्कार की वैद्यता अवधि दो वर्ष

अपर पुलिस महानिदेशक ने अपने पत्र में बताया है कि बिहार सरकार गृह विभाग (आरक्षी शाखा) का संकल्प ज्ञाप सं0-03/विविध – 607/2001 (खंड), गृ०आ०-12227/पटना, दिनांक-10.10.2023 में निहित प्रावधानों के आलोक में पुलिस उप-महानिरीक्षक तिरहुत क्षेत्र, मुजफ्फरपुर एवं पुलिस उप-महानिरीक्षक शाहाबाद क्षेत्र, डिहरी ऑन-सोन द्वारा समर्पित संबंधित कुख्यात वांछित फरार नक्सली / अपराधियों की गिरफ्तारी सुनिश्चित करने हेतु पुरस्कार घोषित करने की अनुशंसा की गई है. कुख्यात सभी फरार नक्सली / अपराधकर्मी का आपराधिक इतिहास है. उनके नाम के सामने अंकित राशि से पुरस्कार की घोषणा की जाती है. घोषित पुरस्कार की वैद्यता अवधि दो वर्ष की होगी. कोई भी पुलिसकर्मी जो फरार नक्सली / अपराधकर्मी को गिरफ्तार करेगा अथवा उसके संबंध में सूचना देकर उसकी गिरफ्तारी में सहयोग प्रदान करेगा, वह पुरस्कार की राशि प्राप्त करने के योग्य होगा. इस संबंध में पुलिस महानिदेशक, बिहार का अनुमोदन प्राप्त है. इसकी प्रतिलिपि सभी क्षेत्रीय पुलिस महानिरीक्षक एवं पुलिस उप-महानिरीक्षक बिहार को सूचनार्थ एवं आवश्यक क्रियार्थ भेजा गया है.

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