dhanbad news : बीआइटी सिंदरी में सोमवार को शोध एवं नवाचार विषयक दो दिवसीय अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन शुरू हो गया. सम्मेलन का उद्घाटन राजेंद्र प्रसाद सभागार में हुआ. असैनिक अभियंत्रण विभाग की ओर से आयोजित कार्यक्रम का उद्देश्य असैनिक अभियंत्रण में सतत विकास के अनुसंधान एवं नवाचार को प्रोत्साहित करना है. विशेषज्ञों ने अपने नवाचारी शोध को किया साझा : विभागाध्यक्ष डाॅ जितू कुजूर ने कार्यक्रम के महत्व व प्रासंगिकता को रेखांकित किया. सम्मेलन के सचिव सह संस्थापक एवं मुख्य संपादक-इंटरनेशनल जर्नल ऑफ जियोसिंथेटिक्स एंड ग्राउंड इंजीनियरिंग स्विटजरलैंड, डाॅ संजय कुमार शुक्ला ने सतत विकास को पर्यावरण के अनुकूल बनाने के लिए पारंपरिक उपायों पर अपना विचार साझा किया. उन्होने विकास के साथ प्रकृति को बचाने के लिए अपने भू-अभियंत्रण के शोध की चर्चा की और कहा कि इससे वैश्विक और स्थानीय विकास संभव हो पाएगा. इसके साथ ही ग्रीन बिल्डिंग मैटीरियल का उत्पादन से लेकर निपटान तक उनके जीवन चक्र में पर्यावरण पर गहरा प्रभाव पड़ता है. इन सामग्रियों का उद्देश्य संसाधनों की खपत को कम करने के साथ प्रदूषण को कम करना और निर्माण उद्योग में स्थिरता को बढ़ावा देना है.
इनकी रही सहभागिता : कार्यक्रम के आयोजन में डाॅ उदय कुमार सिंह, प्रो प्रफुल्ल कुमार शर्मा, डाॅ माया राजनारायण रे, डाॅ निशिकांत किस्कू, डाॅ कोमल कुमारी, डाॅ अभिजीत आनंद, प्रो इकबाल शेख, प्रो सरोज मीणा, प्रो प्रशांत रंजन मालवीय ने सहयोग दिया. आयोजन सचिव डाॅ ब्रह्मदेव यादव ने धन्यवाद ज्ञापन किया.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है