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जिलाधिकारी ने अवैध बालू खनन पर रोक लगाने का दिया निर्देश

समीक्षा बैठक के दौरान डीएम ने दिये और कई निर्देश

आरा.

जिलाधिकारी तनय सुल्तानिया की अध्यक्षता में जिला स्तरीय खनन टास्क फोर्स और जिला खनिज फाउंडेशन से संबंधित बैठक का आयोजित की गयी. बैठक में जिलाधिकारी ने अवैध खनन और परिवहन पर अंकुश लगाने का निर्देश अधिकारियों को दिया. उन्होंने सभी संबंधित पदाधिकारियों को नियमित कार्रवाई करने के निर्देश दिया. उन्होंने निर्देश दिया कि सभी अनुमंडल पदाधिकारी और अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी अपने क्षेत्रों में अवैध खननवाले स्थानों की पहचान कर नियमित छापेमारी करेंगे और नियमानुसार कार्रवाई करेंगे. जिला परिवहन पदाधिकारी और जिला खनन पदाधिकारी कृषि कार्य के लिए क्रय किये गये ट्रैक्टरों की जानकारी जिला कृषि पदाधिकारी से प्राप्त करेंगे. यदि ऐसे ट्रैक्टर अवैध खनन में लिप्त पाये जाते हैं, तो उनके खिलाफ कार्रवाई की जायेगी. वहीं, ऐसे बालू लदे वाहन, जो अपने लेन को छोड़कर दूसरे लेन में चले जाते हैं या ओवरटेक करते हैं, उन पर जुर्माना लगाते हुए कार्रवाई की जायेगी. सभी अनुमंडल पदाधिकारी अपने क्षेत्रों में बालू लदे वाहनों के परिवहन के लिए परियोजनार्थ सड़क मार्ग की पहचान करेंगे और उन मार्गों पर सीसीटीवी कैमरे स्थापित करने का प्रस्ताव भेजेंगे. विधि-व्यवस्था को ध्यान में रखते हुए यदि किसी इंफ्रास्ट्रक्चर के विकास की आवश्यकता है, तो उसका प्रस्ताव भी भेजा जायेगा. जिला प्रोग्राम पदाधिकारी, 10 आंगनबाड़ी केंद्रों के जीर्णोद्धार और सिविल सर्जन अस्पताल की आधारभूत संरचना में सुधार के लिए प्रस्ताव भेजेंगे, ताकि डीएमएफ मद से कार्य कराया जा सके. जिला शिक्षा पदाधिकारी 10 विद्यालयों को मॉडल विद्यालय के रूप में विकसित करने हेतु प्रस्ताव प्रस्तुत करेंगे. वहीं, बैठक में अवैध खनन और परिवहन पर नियंत्रण के साथ ही विकास कार्यों पर भी विस्तृत चर्चा की गयी. इस अवसर पर उप विकास आयुक्त, सिविल सर्जन, जिला शिक्षा पदाधिकारी, सभी अनुमंडल पदाधिकारी और अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी, जिला परिवहन पदाधिकारी, जिला खनन पदाधिकारी, समाज कल्याण पदाधिकारी, जिला प्रोग्राम पदाधिकारी और सभी अंचलाधिकारी उपस्थित थे. मामलों को निष्पादित करने में तेजी लाने का जिलाधिकारी ने दिया निर्देश : वहीं, जिलाधिकारी एवं पुलिस अधीक्षक की अध्यक्षता में जिला अभियोजन की समीक्षात्मक बैठक समाहरणालय सभागार में आयोजित की गयी. बैठक में सामान्य वाद के तहत मजिस्ट्रेट न्यायालय में लंबित एवं निष्पादित कांडों की समीक्षा की गयी. जिला अभियोजन पदाधिकारी को सभी मजिस्ट्रेट न्यायालय से समन्वय स्थापित कर निष्पादित कांडों की संख्या में वृद्धि सुनिश्चित कराने का निर्देश दिया गया. वहीं सहायक अभियोजन पदाधिकारी को अगली बैठक में अद्यतन रजिस्टर के साथ भाग लेने का निर्देश दिया गया. मानव व्यापार विरोधी वादों के मासिक समेकित प्रतिवेदन में गवाही पर दो एवं उपस्थिति पर दो मामले प्रतिवेदित किये गये. जबकि विधायक सांसद सदस्यों के विरुद्ध आपराधिक मामले दर्ज वादों की समेकित विवरणी में सुनवाई पर एक चार्जशीट पर तीन साक्ष्य के लिए दो गवाही पर एक बहस पर एक एवं उपस्थिति के लिए दस मामले प्रतिवेदित किए गए. ऐसे कुल मामलों की संख्या अठारह प्रतिवेदित है. समीक्षा के क्रम में अनुमंडल अभियोजन पदाधिकारियों के अंतर्गत निष्पादित लंबित मामलों की समीक्षा की गयी. इस दौरान वैसे मामले जो डॉक्टर अनुसंधानकर्ता एवं साक्षी की उपस्थिति के लिए लंबित हैं, तीन सौ छत्तीस प्रतिवेदित किये गये.

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