चाईबासा.मिशन वात्सल्य कार्यशाला के द्वितीय चरण का आयोजन शनिवार को कोल्हान प्रमंडल के आयुक्त सभागार में सफलतापूर्वक किया गया. जिसकी शुरुआत मुख्य अतिथि कोल्हान के प्रमंडलीय आयुक्त हरि कुमार केसरी व झारखंड राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग के सदस्य विकास दोदराजका ने की. इस दौरान प्रमंडलीय आयुक्त ने मिशन वात्सल्य को वत्सल भारत के निर्माण की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम बताते हुए कहा कि यह योजना अनाथ बच्चों, मानव तस्करी के शिकार बच्चों, बाल मजदूरी में संलग्न बच्चों और घुमंतू बच्चों को एक सुरक्षित और सम्मानजनक जीवन प्रदान करने में मील का पत्थर साबित होगी. उन्होंने बाल कल्याण संघ के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि इस प्रकार की कार्यशालाएं बाल संरक्षण और जागरूकता के लिए अत्यंत प्रभावी हैं. उन्होंने जोर देकर कहा कि केवल नीतियां और योजनाएं पर्याप्त नहीं हैं, उनके प्रभावी कार्यान्वयन के लिए सामुदायिक जागरूकता और सहयोग भी अनिवार्य है.
क्या है मिशन वात्सल्य
मालूम हो कि मिशन वात्सल्य भारत सरकार की एक कल्याणकारी योजना बाल संरक्षण और विकास के लिए एक मजबूत रोड मैप प्रस्तुत करती है. इसका उद्देश्य बाल अधिकारों को प्राथमिकता देना, किशोर न्याय देखभाल और संरक्षण प्रणाली को सुदृढ़ करना व बच्चों के लिए एक संवेदनशील पारिस्थितिकी तंत्र बनाना है. इसी के तहत बाल कल्याण संघ द्वारा पूरे झारखंड में प्रमंडल स्तर पर परामर्शी कार्यशालाओं का आयोजन किया जा रहा है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है