बक्सर
. कृषि विभाग के द्वारा फसल अवशेष जलाने को लेकर जागरुकता अभियान लगातार चलाया जा रहा है. जागरूकता अभियान चलाने के बाद भी खरीफ सीजन के बाद खेत में पुआल जलाने वाले किसानों पर कृषि विभाग ने बड़ी कार्रवाई की है. जिले में 148 किसानों को सरकारी योजनाओं के लाभ से वंचित कर दिया गया है. तीन वर्षों तक इन किसानों को डीबीटी के जरिए योजनाओं की मिलने वाली धनराशि पर रोक लगा दी गयी है.वायु प्रदूषण और मिट्टी में पोषक तत्वों होती कमी
विभाग के अधिकारियों ने कहा कि वायु प्रदूषण और मिट्टी में पोषक तत्वों के क्षरण को रोकने के लिए प्रयासरत है. इस संबंध में जिला कृषि पदाधिकारी अविनाश शंकर ने बताया कि जनसंपर्क कार्यालय से आप डाटा प्राप्त कर सकतें है. हम प्रतिदिन फसल अवशेष जलाने वाले किसानों की सूची जिला सूचना जनसंपर्क विभाग को उपलब्ध करा देते हैं. इस संबंध में जनसंपर्क पदाधिकारी से सौरभ आलोक से बात किया गया कि फसल अवशेष जलने की कितनी घटनाएं हो चुकी है. तो उनके द्वारा बताया गया कि मेरे पास जिला कृषि पदाधिकारी रोज डाटा उपलब्ध नहीं कराते हैं.
ड्रोन से रखी जा रही है खेतों पर नजर
इस साल बिहार में हवा की गुणवत्ता में गिरावट को देखते हुए खेत में पुआल जलाने के मामलों का पता लगाने के लिए ड्रोन का इस्तेमाल किया जा रहा है. कृषि विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि विभाग ने पुआल जलाने की घटनाओं पर अंकुश लगाने के लिए मुख्य रूप से अवैध शराब पर नजर रखने के लिए ड्रोन का उपयोग करने के लिए उत्पाद विभाग के साथ समझौता किया है. अधिकारियों ने बताया कि विभाग यह सुनिश्चित करने के लिए कि मिट्टी की गुणवत्ता खराब न हो, पुआल जलाने वाले किसानों के प्रति सख्त रुख अपना रहा है, क्योंकि फसल अवशेष जलाने से मिट्टी में पोषक तत्व नष्ट हो जाते हैं और मिट्टी फसलों के लिए अनुत्पादक हो जाती है.
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